Wednesday, 12 February 2014

आमिर खान ने किताब सागर मूवीटोन का विमोचन


फ़िल्म कंपनी सागर की स्थापना इम्पीरियल फ़िल्म कंपनी के अर्देशर ईरानी ने की थी. बाद में इस कंपनी से चिमनलाल देसाई और डॉक्टर अम्बालाल पटेल भी आ जुड़े। चिमनलाल देसाई ने इस कंपनी में दो मूक फ़िल्में बनायीं और सवाक फिल्मों का सिलसिला शुरू किया। सागर मूवीटोन से पहली सवाक फ़िल्म मेरी जान उर्फ़ रोमांटिक प्रिंस थी. यह फ़िल्म १९३१ में रिलीज़ हुई. पहली गुजराती फ़िल्म नरसिंह मेहता भी सागर मूवीटोन द्वारा बनायी गयी. चिमनलाल मेहता अपने बैनर से पढ़े लिखे कलाकारों को जोड़ना ही पसंद करते थे.सागर मूवीटोन से मोतीलाल, सुरेन्द, माया बनर्जी, बिब्बो, सबिता देवी, स्नेहलता प्रधान, आदि ने अपने कैरियर की शुरुआत की. मेहबूब खान को पहली फ़िल्म अल हिलाल (१९३५) सागर मूवीटोन से ही मिली। सागर मूवीटोन से अपने कैरियर की शुरुआत करने वाले अन्य मशहूर निर्देशकों में एज्रा मीर, सर्वोत्तम बादामी, ज़िया सरहदी और रामचंद्र ठाकुर थे. सागर मूवीटोन ने नूर मोहम्मद चार्ली, भूडो अडवाणी और वी एच देसाई जैसे हास्य अभिनेताओं को जन्म दिया। इस कंपनी ने तमिल, तेलुगु, बंगला और पंजाबी भाषा की फ़िल्में भी बनायीं। सागर मूवीटोन से जुड़े ऐसे ही ना जाने कितने जाने अनजाने तथ्य बिरेन कोठरी द्वारा लिखित पुस्तक सागर मूवीटोन में संकलित हैं। पिछले दिनों  इस किताब का विमोचन मशहूर अभिनेता आमिर खान ने खार जिमखाना में किया। पुस्तक का विमोचन करते हुए आमिर खान ने कहा, ''यह किताब ऐतिहासिक किताब की तरह है. यह आज के मौजूदा फिल्मकारों को एहसास दिलाएगी कि आज वह जो कुछ कर पा रहे हैं, उसकी नींव कई साल पहले रखी जा चुकी थी. साथ ही हर सिनेमा प्रेमी और सिनेमा से जुड़े लोगों के लिए यह पुस्तक अनिवार्य है''. विमोचन के मौके पर आमिर खान के अलावा अभिनेता अनिल कपूर, निर्देशक विधु विनोद चोपड़ा, राजकुमार हिरनी, संगीतकार रविन्द्र जैन, लेखक प्रसून जोशी, ९६ वर्षीया वरिष्ठ अदाकारा सुशीला रानी पटेल, निर्देशक विजय कृष्णा आचार्य, कैलाश सुरेन्द्र नाथ, जीत सुरेन्द्रनाथ, आरती कैलाश सुरेन्द्रनाथ, संगीतकार तुषार भाटिया तथा फ़िल्म संगीत के इतिहासकार नलिन शाह मौज़ूद थे. यह पुस्तक इंग्लिश और गुजराती में है।  


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