आजकल हर चैनल पर हास्य कार्यक्रमों की भरमार है। दर्शक भी इन हास्य कार्यक्रमों को पसंद कर रहे हैं। ऐसे ही एक नये हास्य धारावाहिक ४० प्लस का प्रसारण ३१ अगस्त सोमवार से शुक्रवार रात ८ बजे दूरदर्शन पर होने जा रहा है। लेकिन यह धारावाहिक ४० प्लस अन्य प्रसारित हो रहे हास्य कार्यक्रमो से बिल्कुल अलग है। जैसा कि इसका नाम लोगों में उत्सुकता पैदा कर रहा है वैसे ही इसकी कहानी भी दर्शकों में रोचकता बनाये रखेगी। फिल्म अभिनेता अन्नू कपूर द्वारा निर्मित इस धारावाहिक की कहानी है ४० आयु के पार उन लोगों की जिनकी गिनती न तो युवाओं में आती है और न ही बुजुर्गो में, जो परिवार को तो चलाते हैं लेकिन फिर भी बहुत बार वह सबके साथ रहते हुए भी अकेलापन महसूस करते हैं। अधेड़ उम्र के ४० पार लोगों के कुछ अपने शौक, कुछ इच्छायें - महत्वकांक्षाएं , समस्यायें होती हैं। इस उम्र के लोगों को अपने लिये कुछ ऐसा वक्त चाहिए जो की सिर्फ और सिर्फ उनका हो, जिसमें वो अपने दोस्तों के साथ वक्त बिता सकें, अपनी मर्जी से वह सब कुछ कर सकें, जो करना चाहते हैं। जहाँ उन पर कोई भी अपनी मर्जी न चला सकें। धारावाहिक "४० प्लस " की कहानी में भी ४ दोस्त हैं डॉ कुलकर्णी, हरिओम जोशी, सुरजीत ढिल्लों और मिस्टर जिंदल। इन सभी के अपने अपने परिवार हैं लेकिन फिर भी कुछ न कुछ इनके जीवन में कमी है । इस सीरियल में दर्शक देखेंगे कि कैसे चारों दोस्त अपने परिवार की जिम्मेदारियों को निभाते हुए अपने जीवन की समस्याओं से जूझते हुए भी हंसने के लिए कुछ पल चुरा लेते हैं। अनु कपूर फिल्म्स प्राइवेट लिमिटेड प्रेजेंट्स इस धारावाहिक को निर्देशित किया है निर्देशक राजेश गुप्ता ने । इस धारावाहिक में बेंजामिन गिलानी, कैलाश कौशिक, रूपेश पटोले, जस्सी कपूर, प्रीतिका भाग्य और स्वाति कौशिक की मुख्य भूमिका है ।
भारतीय भाषाओँ हिंदी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़, मलयालम, पंजाबी, आदि की फिल्मो के बारे में जानकारी आवश्यक क्यों है ? हॉलीवुड की फिल्मों का भी बड़ा प्रभाव है. उस पर डिजिटल माध्यम ने मनोरंजन की दुनिया में क्रांति ला दी है. इसलिए इन सब के बारे में जानना आवश्यक है. फिल्म ही फिल्म इन सब की जानकारी देने का ऐसा ही एक प्रयास है.
Tuesday, 25 August 2015
अनु कपूर का हास्य धारावाहिक फोर्टी प्लस
Labels:
Television
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment