Thursday, 17 August 2017

छोटे परदे पर बड़े बड़े 'अवतार'

छोटा पर्दा धर्ममय हो गया है।  टेलीविज़न चैनलों पर अवतार सीरियलों की भरमार है।  परंपरागतपारिवारिक सोपओपेरा का जैसे दर्शक सिमट गया है।  हर चैनल किसी न किसी पौराणिक चरित्र पर शोज का ऐलान करता नज़र आता है।  एक सीरियल ख़त्म होता नहीं कि उसकी जगह लेने दूसरा धार्मिक-पौराणिक सीरियल तैयार रहता  है।  अब सोनी को ही लीजिये।  इस चैनल पर प्रसारित हो रहा संकटमोचन महाबली  हनुमान जैसे ही ख़त्म होगाउसकी जगह विघ्नहर्ता गणेश ले लेगा।  हनुमानजी का महिमामंडन करने वाला सोनी एंटरटेनमेंट गणेश जी के जयजयकारे लगाने लगा।  मौका भी तो अच्छा है गणेश चतुर्थी (२५ अगस्त) का।  परदे पर देवा ओ देवा होना ही है। 
हिन्दू टीवी सीरियलों के चैनल
धार्मिक सीरियल टेलीकास्ट करने के मामले में कोई भी चैनल खुद के सेक्युलर होने का दावा नहीं कर सकता।  तीन साल पहले अल जज़ीरा की वेब साइट पर प्रकाशित एक लेख हिन्दू माइथोलॉजी रूल इंडियन टेलीविज़न पूरी कहानी बयां करने वाला है।  आज तीन साल बाद भी माहौल नहीं बदला है।  हर प्रमुख टीवी चैनल हिन्दू धार्मिक सीरियल ले कर आ रहा है।  बिग मैजिक पर कृष्ण लीला दर्शाने वाला सीरियल बाल कृष्ण टेलीकास्ट हो रहा है।  इस सीरियल  का प्रोडक्शन हाउस भगवान् श्रीकृष्ण की बाल लीला के अनछुए पहलू दिखाने का दावा करता है।  इस सीरियल के निर्माता सिद्धार्थ कुमार तिवारी धार्मिक सीरियल बनाने के ब्रांड बने हुए है।  एंड टीवी पर परमावतार श्रीकृष्ण प्रसारित हो रहा है।  फिलहाल इस शो में भगवान् श्रीकृष्ण के बालरूप का चित्रण किया जा रहा है।  हालाँकिइस सीरियल द्वारा दिखाई जा रही तमाम कहानियों से दर्शक परिचित है। एंड टीवी से ही प्रसारित हो रहे सीरियल संतोषी माँ में संतोषी माता की एक भक्त महिला पर संतोषी माँ की कृपा का चित्रण किया जा रहा है।  कलर्स से माँ दुर्गा के रूपों पर सीरियल महाकाली अंत ही प्रारम्भ है का प्रसारण हो रहा है।  इस सीरियल को शुरूआती कड़ियों से ही ज़बरदस्त सफलता और प्रशंसा मिली है।  कलर्स पर पहले से ही शनि महिमा का बखान करने   वाला शो कर्मफल दाता शनि का प्रसारण हो रहा है।  स्टार प्लस से आरंभ कहानी देवसेना की का प्रसारण हो रहा है।  यह सीरियल प्रागैतिहासिक काल में आर्यों के भारत आगमन और उनके द्रविड़ों से युद्ध का चित्रण कर रहा है।  वैसे लाइफ ओके पर सबसे पॉपुलर पौराणिक शो  देवों के देव महादेव की वापसी की खबर गर्म है।
धार्मिक टीवी सीरियलों के निर्माता
सिद्धार्थ कुमार तिवारी को २१वी सदी का वेदव्यास कहा जा सकता है।  वह अपनी निर्माण संस्था स्वस्तिक प्रोडक्शंस के अंतर्गत टीवी सीरियलों का निर्माण करते हैं।  उनका सबसे सफल शो महाभारत २०१३ से टेलीकास्ट हुआ था।  इससे पहले वह महिमा सोमनाथ की बना कर ख्याति प्राप्त कर चुके थे। सूर्यपुत्र कर्ण और बाल कृष्ण जैसे पौराणिक शो बनाने वाले सिद्धार्थ के इस समय दो पौराणिक शो कर्मफल दाता शनि और महाकाली : अंत ही आरम्भ है कलर्स से प्रसारित हो रहे हैं।  धार्मिक सीरियलों की सफलता का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि फिल्म निर्देशक रामानंद सागर ने रामायण की अपार सफलता के बाद राम के दो पुत्रों लव और कुश पर  लव-कुश का निर्माण भी किया।  यह दोनों सीरियल दूरदर्शन पर नेशनल चैनल से दिखाए गए।  दूरदर्शन संकट मोचक हनुमान का प्रसारण भी कर चूका है।  बीआर चोपड़ा ने भी महाभारत के बाद विष्णु कथाओं पर विष्णु पुराण का निर्माण किया।  ट्रायंगल फिल्म कंपनी के निर्माता निखिल सिन्हा और सोहना सिन्हा देवों के देव महादेव और महाभारत जैसे भव्य शोज का निर्माण कर चुके हैं।  खबर है कि देवों के देव महादेव के सीजन २ का प्रसारण हो सकता है। 
छोटे परदे के 'अवतारएक्टर
चाहे फिल्म एक्टर हो या टीवी एक्टरपौराणिक चरित्रों से उन्हें हमेशा सराहना मिलती रही है।  अस्सी के दशक में अरुण गोविल और दीपिका चिखलिया परदे के राम और सीता बन कर धार्मिक आबादी के चहीते बन गए थे।  महाभारत के प्रसारण के दौरान नीतीश भारद्वाज को भी कृष्ण की पहचान मिली।  इसी पहचान की बदौलत वह सांसद भी बने। आजकल सौरभ राज जैन धार्मिक धारावाहिकों के पौराणिक चरित्र बन गए हैं।  वह पौराणिक धारावाहिक महाभारत में कृष्ण  की भूमिका कर चुके हैं।  हालाँकिउनकी तुलना नीतीश भरद्वाज के साथ की जाती रही।  उन्होंने देवों के देव महादेव में विष्णु का अवतार लिया।  आजकल वह महाकाली अंत ही आरम्भ में शिव के अवतार में हैं।  सौरभ के सीरियल देवों के देव महादेव में अभिनेता मोहित रैना ने महादेव का अवतार लिया था।  इस शो ने मोहित को ज़बरदस्त शोहरत दिलाई।  इसी शोहरत का नतीजा था कि उनका ज़िक्र बॉलीवुड अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा के साथ सगाई की खबरों तक जा पहुंचा।  मोहित पर महादेव की इमेज के दुष्प्रभाव का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि सीरियल चक्रवर्तिन अशोक सम्राट में उनके अशोक महान के अवतार को फीका महसूस किया गया।  अब खबर है कि देवों के देव महादेव सीजन २ से उनकी महादेव के रूप में वापसी हो रही है। खबर यह भी है कि महादेव में सती का किरदार करने वाली मौनी रॉय की वापसी भी हो रही है।  मौनी रॉय के फिल्म गोल्ड में अक्षय कुमार की नायिका बनाने की खबरों के साथ टीवी पर वापसी काफी कुछ कह  जाती है।  महादेव में मौनी रॉय के जाने बादपारवती का किरदार निभाने वाली दो अभिनेत्रियां सोनारिका भदौरिया और पूजा बोस भी अपने किरदार के कारण सुर्ख़ियों में रहीं।  महाकाली अंत ही आरम्भ है में पारवती का किरदार करने वाली अभिनेत्री पूजा शर्मा को महाभारत में द्रौपदी के किरदार के पहचान मिली।  अब वह महाकाली  के तमाम रूपों में अपनी प्रतिभा का परिचय दे रही हैं। 
चीन में लोकप्रिय पौराणिक सीरियल 
चीन में भारत में बने पौराणिक  टीवी सीरियलों को पसंद किया जाता है।  चीनी टेलीविज़न पर यह सीरियल चीनी भाषा में भाषांतरित होकर प्रसारित होते हैं।   चीनी दर्शकों के तीन सर्वाधिक पसंदीदा सीरियलों में महाभारत, देवों के देव और नागिन हैं।  चीनियों को भारत के पौराणिक सीरियलों का दर्शन और वैश्विकता प्रभावित करती है।  चीन के युवाओं को यह अलग संसार नज़र आता है।  देवों के देव महादेव को देखने के बाद चीनी युवा भारतीय कथानकों को पढ़ने के लिए प्रेरित हुआ।  बुद्ध राजाओं का राजा को देखने वाले चीनियों की कोई  थी।  
उच्च तकनीक का इस्तेमाल 
धार्मिक सीरियलों की लोकप्रियता का परिणाम है कि टेलीविज़न शोज की तकनीक में गुणात्मक सुधार किया जा रहा है । उच्च तकनीक से सीरियल बनाए जा रहे हैं । महाकाली अंत ही आरंभ है का निर्माण मोशन कैप्चर तकनीक और एनिमैट्रॉनिक्स के ज़रिये किया जा रहा है । इसके कारण से टीवी के भगवान गणेश बिल्कुल जीवंत नज़र आयेंगे । निर्माताओं का दावा है कि इस तकनीक का इस्तेमाल हॉलीवुड की फिल्मों में व्यापक रूप से किया जाता है । यह तकनीक दृश्यों को ज्यादा असली और गंभीर अनुभव देगी। दर्शक जब गणेश को देखेंगे तो उन्हें महसूस होगा कि गणेश के कलाकार के चेहरे पर निष्क्रिय मास्क नहीं लगाया गया है । यह तकनीक गणेश के एक विघ्नकारी बच्चे से सभी देवताओं में 'प्रथमेशबनने तक के भावनात्मक सफर को जीवंत कर देगी। यह अग्रणी तकनीक भगवान गणेश के विस्तृत यथार्थ मूवमेंट और चेहरे के भावों को स्पष्ट रूप से जीवंत करेगी और सभी दर्शकों को पूर्ण विजुअल ट्रीट देगी। तो चलिए देखते हैं गणेशावतार और महाकाली रूप ! 

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