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Monday 6 August 2018

फादर्स डे में बच्चों की खोज करेंगे इमरान हाशमी !

पत्रकार से फिल्मकार बनी प्रिया गुप्ता ने, स्वतंत्र फिल्म निर्माता के तौर पर, अपनी पहली फिल्म का ऐलान कर दिया है।  इस फिल्म का नाम फादर्स डे होगा।

यह रियल लाइफ फिल्म होगी।

यह फिल्म प्रफुल शाह की लिखी गुजराती किताब दृश्यम अदृश्यम पर आधारित है।

फादर्स डे, एक जासूस सूर्यकांत भंडे पाटिल की कहानी है, जिसने १२० अपहृत बच्चों को बिना किसी धन लाभ के ढूंढ निकाला था। पुणे के सिविल इंजीनियर सूर्यकांत ने पुणे और मुंबई पुलिस से सहयोग कर इन बच्चो को खोजा था।

उन्होंने,१९९९ में अपनी डिटेक्टिव एजेंसी स्पाई संकेत की स्थापना की थी।

इस फिल्म में इमरान हाश्मी की मुख्य भूमिका है। इस फिल्म के एक निर्माता इमरान हाश्मी  भी है। वह डिटेक्टिव सूर्यकांत की भूमिका करेंगे।

फिल्म का निर्देशन शांतनु बागची ने किया है। यह उनकी पहली फिल्म है।  शांतनु ने लगभग ३०० एड फिल्मों का निर्माण किया है।

फिल्म को रितेश शाह ने लिखा है।  रितेश शाह के खाते में एयरलिफ्ट, पिंक और रेड जैसी फ़िल्में दर्ज हैं।

इस फिल्म की शूटिंग अगले साल शुरू होगी ।


काजोल ने अपने जन्मदिन पर लांच की हेलीकाप्टर इला का ट्रेलर - क्लिक करें 

Saturday 7 July 2018

स्पेनिश फिल्म द बॉडी की हिंदी रीमेक बॉडी की शूटिंग पूरी

मलयालम फिल्मों के पटकथा लेखक और निर्देशक जीतू जोसफ की पहली हिंदी फिल्म बॉडी की शूटिंग पूरी हो गई है।

इस फिल्म की शूटिंग मई में शुरू हुई थी। इसका ४५ दिन का शिड्यूल मुंबई और मॉरिशस में शूट किया गया।

जीतू जोसफ की हिन्दी डेब्यू फिल्म एक स्पेनिश फिल्म द बॉडी का हिंदी रीमेक है।

इस फिल्म में एक पोस्टमार्टम घर में एक चौकीदार दहशत से भागता है और मारा जाता है। पुलिस जांच में पाती है कि हालिया मृत घोषित की गई एक महिला का मृत शरीर गायब है। इसके बाद ही फिल्म में रहस्य और रोमांस के क्षण आते रहते हैं।

जीतू जोसफ को थ्रिलर बनाने में महारत हासिल है।

उनकी, २०१३ में रिलीज़ मलयालम फिल्म दृश्यम का कन्नड़, तमिल और तेलुगु के अलावा हिंदी में भी रीमेक हुआ था।

हिंदी दृश्यम का निर्देशन निशिकांत कामथ ने किया था। इस फिल्म में अजय देवगन, तब्बू और श्रिया सरन ने मुख्य भूमिकाये की थी।

जीतू जोसफ की पहली हिंदी फिल्म में भी बॉलीवुड के ए लिस्टर एक्टर हैं। इस फिल्म में ऋषि कपूर और इमरान हाशमी पहली बार एक साथ आ रहे हैं।

फिल्म से दक्षिण की सुंदरी वेदिका का भी हिंदी फ़िल्म डेब्यू हो रहा है।

फिल्म की दूसरी एक्ट्रेस शोभिता धूलिपाला हैं।

बॉडी टाइटल वाली इस फिल्म के निर्माता अज़ूरे एंटरटेनमेंट और वायकॉम मोशन पिक्चर्स हैं। 

ऑनलाइन रॉयल्टी के लिए इंटरनेट संधि  - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

Saturday 28 April 2018

स्पेनिश फिल्म के हिंदी रीमेक में लाश खोजेंगे ऋषि कपूर !

सबसे ऊपर एल कुरेपो,  वेट्टा (बाएं) और द वैनिश (दायें) 
मलयालम फिल्म निर्देशक जीतू जोसफ की पहली हिंदी फिल्म की स्टार कास्ट अनोखी है।

जीतू जोसफ से हिंदी दर्शक, अजय देवगन की फिल्म दृश्यम से याद कर सकते हैं, जिसके मूल संस्करण मलयालम दृश्यम का निर्देशन किया था।  

इस हिंदी फिल्म में पहली बार, इमरान हाश्मी और ऋषि कपूर साथ नज़र आएंगे ।

जीतू की यह फिल्म एक स्पेनिश फिल्म एल कुरेपो  (२०१२) की रीमेक है।

फिल्म एल कुरेपो की कहानी एक पुलिस अफसर की है, जिसे उस मृत महिला शरीर की तलाश है, जो एक मुर्दाघर से यकायक लापता हो गई है।

इस खोज के दौरान, उस अफसर को उस औरत की पृष्ठभूमि और उसकी ह्त्या के कारणों का पता चलता है।

इस  क्राइम थ्रिलर फिल्म को अंगेज़ी भाषा में द बॉडी टाइटल के साथ रिलीज़ किया गया।

फिल्म को समीक्षकों की प्रशंसा मिली।

द बॉडी पर कोरियाई फिल्म द वैनिशड (२०१८) का निर्माण हुआ।

एल कुरेपो को, भारत में पहली बार  रीमेक नहीं किया जा रहा।  इस स्पेनिश फिल्म पर राजेश  पिल्लई ने मलायलम फिल्म वेट्टा (२०१६) का निर्माण किया था।

इस फिल्म को तमिल, कन्नड़ और तेलुगु में भी ओरू मेलिया कोडु/ गेम/ नोटकू पोटू टाइटल के साथ रिलीज़ किया गया।

जीतू जोसफ की फिल्म  शूटिंग, मई में शुरू हो कर ४५ दिनों तक लगातार चलती रहेगी।  

ऋषि कपूर की अमिताभ बच्चन के साथ हिंदी फिल्म १०२ नॉट आउट ४ मई को रिलीज़ हो रही है। 

फिल्म फ्रंट पर इमरान हाश्मी का कुछ अच्छा नहीं चल रहा।  उनकी पिछली फिल्म, अजय  देवगन के साथ बादशाओ फ्लॉप हुई थी।  उनकी थ्रिलर फिल्म कैप्टेन नवाब का अब तक कोई अतापता नहीं है।  


एस्क्वायर मैगज़ीन में प्रियंका चोपड़ा - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

Tuesday 16 January 2018

अब शिक्षा माफिया की पड़ताल करेंगे इमरान हाश्मी

तनुज गर्ग,  इमरान हाश्मी, भूषण कुमार, अतुल कस्बेकर 
अभी तक, अपनी फिल्मों की मलिका शेरावत और बिपाशा बासु से लेकर नर्गिस फाखरी और विद्या बालन तक, नायिकाओं की काम-वासना की पड़ताल करने वाले इमरान हाश्मी ने अपना चोला बदल लिया है। अब वह अपनी नायिका के बजाय, शिक्षा व्यवस्था की जांच पड़ताल करेंगे। उनका यह नया किरदार, उनकी टी-सीरीज और एलिप्सिस एंटरटेनमेंट के साथ नई फिल्म चीट इंडिया में देखने को मिलेगा। यह फिल्म भारतीय शिक्षा व्यवस्था में शिक्षा माफिया के द्वारा किये जा रहे अपराध की कहानी वाली यह फिल्म रियल लाइफ की घटनाओं को जोड़ कर तैयार की गई है। इमरान हाश्मी कहते हैं, "ऎसी कहानियां १०-१५ सालों में ही कभी पढ़ने को मिलती है।" इस फिल्म का निर्देशन  सौमिक सेन करेंगे। लेखक-निर्देशक सौमिक सेन के खाते में गुलाब गैंग और बैडमैन जैसी फ्लॉप फ़िल्में दर्ज हैं। इमरान हाशमी की अब तक की सबसे सशक्त भूमिका वाली फिल्म चीट इंडिया की शूटिंग जुलाई से शुरू होगी तथा फिल्म फरवरी २०१९ में रिलीज़ होगी। यहाँ बताते चलें कि इमरान हाश्मी ने २०१६ में एक स्पाई फिल्म कैप्टेन नवाब का निर्माण शुरू किया था। उस फिल्म में वह एक एजेंट की भूमिका कर रहे थे। लेकिन, वह फिल्म अभी तक रिलीज़ नहीं हो सकी है। इमरान हाश्मी ने इस दूसरी फिल्म चीट इंडिया से जुड़ रहे तो फिल्म से जुड़े अपने अन्य साथियों तनुज गर्ग और भूषण कुमार के कारण। तनुज गर्ग और भूषण कुमार की जोड़ी ने लीक से हट कर,  कथ्यात्मक फिल्मों का निर्माण किया है।  इस जोड़ी ने पिछले साल ही तुम्हारी सुलू जैसी सफल फिल्म दी है।

बनने अब्रॉडिया राजा चला अब्रॉड - पढ़ने के लिए क्लिक करें   

Tuesday 29 March 2016

बेटे के साथ कैंसर से लड़ते इमरान हाश्मी की दास्ताँ

सीरियल किसर के टैग से मशहूर अभिनेता इमरान हाश्मी की एक किताब बाज़ार में आई है।  अंगेजी भाषा में इस किताब का टाइटल उनकी रील इमेज के अनुरूप 'द किस ऑफ़ लाइफ' रखा गया है।  हालाँकि, इस किताब की टोन सीरियस है।  इस किताब में इमरान हाशमी ने अपने शुरूआती दिनों से लेकर, मर्डर से मिली सफलता, स्टारडम और बेटे की बीमारी और उससे बीवी के साथ उनके संघर्ष का विवरण दिया है। पाठकों को याद होगा कि २०१४ में इमरान के चार साल के बेटे अयान को कैंसर का पता चला था।  उसकी बीमारी और ईलाज के दौरान इमरान हाश्मी और उनकी बीवी परवीन ने जीवन के जो उतार चढ़ाव, आशा-निराशा के क्षण देखे, उसने इन दोनों को मानवीय सोच से भर दिया।  आज इमरान हाशमी खुद को नए इमरान हाश्मी के रूप में देखते हैं। किताब के कवर पर इमरान हाश्मी और उनके बेटे अयान का चित्र मर्मस्पर्शी है और किताब के मज़मून को साफ़ करने वाला है ।  इसके नीचे टैग लाइन है- कैसे एक सुपर हीरो और मेरे बेटे ने कैंसर पर जीत हासिल की। इस किताब को बिलाल सिद्दीकी ने इमरान हाश्मी के साथ लिखा है।  बिलाल बलोचिस्तान पर एक थ्रिलर द बर्ड ऑफ़ ब्लड लिख चुके हैं।  वह वर्तमान में रेड चिलीज एंटरटेनमेंट के साथ जुड़े हैं।  इमरान हाशमी क्लास के नहीं मास के हीरो हैं।  इसलिए, उनकी किताब को अंग्रेजी में देख कर उनके प्रशंसकों को निराशा हो सकती है।

Thursday 21 January 2016

इमरान हाश्मी के वॉयस मॉडुलेशन के साथ ​"राज रिलोडेड"

​२००२ में शुरू राज़ सीरीज की फिल्मों की चौथी कड़ी राज़ रीलोडेड का प्री प्रोडक्शन तेज़ी पर है।  यह तय हो गया है कि राज़ सीरीज की चौथी कड़ी में इमरान हाश्मी ही नायक होंगे।  यह उनकी राज़ सीरीज में चौथी फिल्म होगी। इस फिल्म में इमरान हाश्मी बहुत ही चैलेंजिंग ​किरदार निभाते हुए नज़र आएंगे।   राज़ सीरीज की फिल्मों में भटकती आत्माओं या दुष्ट आत्माओं का रोल अहम होता है।  राज़ रीलोडेड भी इसी कड़ी में है।   अलबत्ता, यह पहली बार होगा कि पिछली दो  फिल्मों में आम आदमी का किरदार करने वाले एक्टर इमरान हाशमी इस फिल्म में एक वैम्पायर यानि पिशाच की भूमिका में होंगे।  पिशाचों के बारे में कहा जाता है कि वह इंसानी खून पीते हैं।  इस लिहाज़ से इमरान हाश्मी को अपने सामान्य चेहरे पर एक पिशाच का चेहरा लगाना होगा।  लेकिन, इसमे ख़ास होगी उनकी आवाज़।  राज़ : द मिस्ट्री कॉन्टीन्यूज में कंगना रनौत के शरीर में बुरी आत्मा प्रवेश करती थी। कंगना ने ऐसे सीक्वेंस के लिए काफी मेहनत की थी।  कुछ ऎसी ही मेहनत इमरान हाश्मी को राज़ रीलोडेड में अपने किरदार के लिए करनी पड़ रही है।  ​फिलहाल इमरान हाश्मी ​फिल्म अज़हर में व्यस्त हैं। इस फिल्म का काम पूरा होते ही वह विक्रम भट्ट निर्देशित इस फिल्म में व्यस्त हो जायेंगे। अपने किरदार को और मजबूत बनाने के लिए वॉइस मॉडुलेशन वर्कशॉप जायेंगे। यह जरुरी भी है क्यूंकि  किरदार की विशेष वॉइस टोन है ।  फिल्म से जुड़े सूत्रों का कहना है, " अगर तकनीकी तौर पर बात करे तो यह किरदार इन्सान का नहीं है। इसलिए इमरान नहीं चाहते की उनकी आवाज उनकी दूसरे फिल्मो जैसी लगे। इसलिए वे अपने आवाज पर काम करेंगे और वॉइस मॉडुलेशन के लिए प्रोफेशनल वॉइस कोच से ट्रेनिंग लेंगे। इमरान वॉइस वर्कशॉप फिल्म के शूटिंग के पूर्व से शुरुआत करेंगे और शूटिंग के दौरान भी वे वॉइस मॉडुलेशन वर्कशॉप जायेंगे तथा फिल्म की डबिंग के समय भी वॉइस एक्सपर्ट इमरान के साथ होंगे।" इमरान  हाश्मी की पिछली हिट फिल्म राज़ सीरीज की तीसरी फिल्म राज़ ३ डी थी।  यह फिल्म २०१२ में रिलीज़ हुई थी।   इसके बाद से अब तक इमरान हाशमी रश, एक थी डायन, घनचक्कर, राजा नटवरलाल,  उंगली, मिस्टर एक्स और हमारी अधूरी कहानी जैसी सात असफल फ़िल्में दे चुके हैं।  उन्हें एक हिट फिल्म की सख्त ज़रुरत है।  क्या राज़ रीलोडेड उनके करियर को रीलोड कर पाएगी ? 

Sunday 17 January 2016

क्या सचमुच रियल बन पाते हैं रील लाइफ किरदार !

कुछ फिल्मों पर नज़र डालें।  इन फिल्मों को बायोपिक या रियल लाइफ घटना पर फ़िल्में कहा जाता है।  २२ जनवरी को अक्षय कुमार की राजा कृष्णा मेनन निर्देशित फिल्म 'एयरलिफ्ट' रिलीज़ हो रही है। फिल्म में  १९९० के कुवैत-इराक युद्ध के दौरान कुवैत में फंसे भारतीयों को हवाई मार्ग से बाहर निकाले जाने की घटना का चित्रण किया गया है।  इस फिल्म में अक्षय कुमार एक कुवैती भारतीय व्यापारी रंजीत कत्याल का रोल कर रहे हैं तथा लंचबॉक्स की नायिका निमृत कौर उनकी पत्नी अमृता बनी हैं।  निर्देशक राम माधवानी की १९ फरवरी को रिलीज़ हो रही बायोपिक ड्रामा फिल्म 'नीरजा' में अभिनेत्री सोनम कपूर ५ सितम्बर १९८६ को भारत की मुंबई- न्यू यॉर्क फ्लाइट को अपहृत कर कराची ले जाए गए यात्री बंधकों को बचाने के प्रयास में मारी गई एयर होस्टेस नीरजा भनोट का किरदार कर रही हैं। हंसल मेहता निर्देशित फिल्म 'अलीगढ' अलीगढ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के मराठी भाषा के प्रोफेसर डॉक्टर श्रीनवास रामचन्द्र सिरस पर केंद्रित है, जिसे समलैंगिक सम्बन्ध रखने के कारण निलंबित कर दिया गया था।  बाद में वह संदेहास्पद परिस्थिति में मृत पाया गया।  सिरस के किरदार को मनोज बाजपेई कर रहे हैं।  टोनी डिसूजा  भारतीय  क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान मोहम्मद अज़हरुद्दीन पर बायोपिक फिल्म 'अज़हर' का निर्देशन कर रहे हैं। अज़हर के जीवन पर १३ मई को रिलीज़ होने जा रही इस फिल्म 'अजहर' में मोहम्मद अज़हरुद्दीन का किरदार सीरियल किसर अभिनेता इमरान हाशमी कर रहे हैं। वहीँ नीरज पाण्डेय भारतीय क्रिकेट टीम के  कप्तान महेंद्र सिंह धोनी पर बायोपिक फिल्म 'धोनी: द अनटोल्ड स्टोरी' बना रहे हैं।  इस फिल्म में सुशांत सिंह राजपूत धोनी का किरदार कर रहे हैं। ओमग कुमार की फिल्म 'सरबजीत' पाकिस्तान की जेल में मारे गए भारतीय बंदी सरबजीत और उसे छुड़ाने के लिए उसकी बहन दलबीर के संघर्ष की कहानी है।  २० मई को रिलीज़ होने जा रही इस फिल्म में ऐश्वर्या राय बच्चन दलबीर का किरदार कर रही हैं। सरबजीत का किरदार रणदीप हूडा कर रहे हैं। नितेश तिवारी के निर्देशन में आमिर खान हरियाणा के पहलवान महावीर सिंह फोगट का किरदार कर रहे हैं।  कामनवेल्थ गेम्स में कुश्ती के स्वर्ण और रजत पदक पाने वाली बेटियों गीता फोगट और बबिता फोगट का किरदार फातिमा सना शेख और सान्या मल्होत्रा कर रही हैं।  साक्षी तंवर महावीर फोगट  की पत्नी दया कौर के किरदार में हैं।
रियल लाइफ पर फ़िल्में क्यों ? - हॉलीवुड
सवाल उठना ही चाहिए कि वास्तविक घटना और किरदारों पर फ़िल्में क्यों बनाई जानी चाहियें ? हॉलीवुड में बहुत सी बायोपिक या वास्तविक घटनों पर फ़िल्में बनाई गई हैं।  कुख्यात वाटरगेट कांड पर आल द प्रेसिडेंटस मेन, वियतनाम वॉर पर बॉर्न ऑन द फोर्थ ऑफ़ जुलाई, सेरिब्रल पल्सी से ग्रस्त लेखक क्रिस्टी ब्राउन पर माय लेफ्ट फुट, जर्मन कैंप में हजारों कैदियों को बचाने वाले ओस्कर शिंडलर  पर शिंडलर्स लिस्ट, १९७० में नासा के चाँद पर रेस्क्यू मिशन पर फिल्म अपोलो १३, सिगरेट बनाने वाली अपनी ही  कंपनी के खिलाफ आवाज़ उठाने वाले जेफ्री विगंड पर फिल्म द इनसाइडर, गाँव वालो को प्रदूषित पानी पिलाने वाली कंपनी से मुआवज़ा दिलवाने वाली वकील एरिन ब्रोकोविच पर फिल्म  एरिन ब्रोकोविच,  आदि कुछ फ़िल्में केवल उदहारणस्वरुप ही हैं।  ऎसी सैकड़ों फ़िल्में हॉलीवुड ने बनाई हैं।  इन फिल्मों का उद्देश्य खोजपरक तथ्य जनता के सामने रखना या इन घटनाओं से सबक दर्शाना होता है।
रियल लाइफ पर फ़िल्में क्यों ? - बॉलीवुड
बॉलीवुड ऐसा कोई इसरार नहीं करता।  प्रेरणादाई अथवा तथ्यात्मक फिल्मों के लिहाज़ से बॉलीवुड हॉलीवुड के आस पास तक नहीं। अन्यथा, वह अपने स्वतंत्रता सेनानियों पर अच्छी फ़िल्में बनाता।  भगत सिंह, चन्द्र शेखर आज़ाद, सुभाष चन्द्र बोस, आदि सेनानी चरित्रों पर जो फ़िल्में बनी है,  वह ज़्यादातर एक्शन या स्टंट को ध्यान में रख कर बनाई गई।  अंदरूनी  तथ्यों उकेरने वाली तलवार जैसी जो कोशिशें की भी गई हैं, वह बॉक्स ऑफिस को ध्यान में रख कर ही की गई। विशाल भरद्वाज की फिल्म 'हैदर' कश्मीर की स्थिति का एकतरफा चित्रण करने वाली फिल्म थी, जिसमे कश्मीरियों को मासूम दिखाने के चक्कर में आर्मी को कटघरे में खड़ा कर दिया गया था।  इधर जो बायोपिक या रियल घटनों पर फ़िल्में प्रदर्शित होने जा रही हैं, वह किस लिहाज़ से खोजपरक या प्रेरणादायक हैं, इसकी जानकारी फिल्म रिलीज़ होने के बाद ही होगी।
सबसे बड़ा सवाल ???
सबसे बड़ा सवाल प्रामाणिकता का है।  क्या  तथ्यों के लिहाज़ से यह फ़िल्में प्रामाणिक बन पाएंगी ? क्या इनके चरित्र रियल लाइफ और स्वाभाविक बन पाएंगे ? प्रमाणिकता की बात करें तो हिंदी फ़िल्में हमेशा विवादित होती रही हैं।  अब चाहे वह ऐतिहासिक जोधा अकबर हो या बाजीराव मस्तानी, तथ्यों को तोड़ने मरोड़ने का आरोप हमेशा ही लगता रहा है।  लेकिन, पीरियड फिल्मों या वास्तविक घटनाओं पर बनी फिल्मों के साथ तथ्यों का ख़ास महत्व होता है।  इसके अलावा किरदार कितने वास्तविक बन पड़े हैं, यह भी मायने रखता है। अपने किरदार के अनुरूप खुद को ढालने की जिम्मेदारी एक्टर्स पर होती है।  क्या हमारे एक्टर  इम्तिहान में खरे उतरते हैं या उतरेंगे ? आइये रिलीज़ होने जा रही फिल्मों के सन्दर्भ में इसे परखते हैं।
एयरलिफ्ट- इस फिल्म में अक्षय कुमार को रंजीत कत्याल नज़र आना है।  रंजीत कत्याल भारतीयों के लिहाज़ से बहुत जाना पहचाना नहीं।  लेकिन, अक्षय कुमार को खुद की इमेज से उबरना होगा।  उन्होंने बेबी या हॉलिडे में जो किरदार किये थे, वह एक्शन ओरिएंटेड थे।  अक्षय कुमार पर ऐसे किरदार फबते हैं।  लेकिन, रंजीत कत्याल एक साधारण इंसान है, जो असाधारण काम करने के लिए जाना जाता है। देखना होगा कि वह इस साधारण किरदार को कितना असाधारण बना पाते हैं ! इस लिहाज़ से उनकी पत्नी के किरदार में निमृत कौर का काम आसान होगा।
 नीरजा- एयर होस्टेस के किरदार को सोनम कपूर के लिहाज़ से टेलर मेड कहना ठीक होगा।   सोनम कपूर स्टाइल आइकॉन हैं।  उन्होंने एयर होस्टेस को काफी नज़दीकी से देखा होगा।  वह नीरजा के किरदार को गेटअप के लिहाज़ से आसानी से कर ले जाएंगी। उनकी सही मायनों में परीक्षा होगी प्लेन हाईजैक के बाद के  मानसिक और शारीरिक तनाव को अपने चेहरे और बॉडी लैंग्वेज से प्रदर्शित करना ।  यह काम उनके लिए बहुत आसान नहीं होगा।
अलीगढ- हंसल मेहता ने श्रीनिवास रामचन्द्र सिरस के किरदार के लिए मनोज बाजपेई का चयन सबसे बेहतर किया  है । सत्य के भीखू म्हात्रे, शूल के इंस्पेक्टर समर प्रताप सिंह,  पिंजर के राशिद, एलओसी कारगिल के ग्रेनेडियर योगेन्द्र सिंह यादव, आदि मनोज बाजपेई की करैक्टर की स्किन में घुस जाने की क्षमता के प्रमाण हैं। इसलिए, उनसे उम्मीद की ही जानी चाहिए।
अज़हर- इस फिल्म में मोहम्मद अज़हरुद्दीन के किरदार में इमरान हाशमी कमज़ोर कड़ी साबित हो सकते हैं।  इमरान एक कमज़ोर अभिनेता हैं।  उनकी ख़ास इमेज हैं।  अगर टोनी डिसूज़ा ने इस फिल्म में अज़हर के निजी जीवन और फिक्सिंग के आरोप लगने के बाद अज़हर की ज़िन्दगी को ज़रा भी नज़दीक से  दिखाया होगा तो इमरान हाश्मी के फिसलने का खतरा है।  अन्य किरदारों में प्राची देसाई अज़हर की पहली पत्नी नौरीन, नर्गिस फाखरी फिल्म एक्ट्रेस और  अज़हर की दूसरी पत्नी संगीता बिजलानी के किरदार में होंगी।  इन चरित्रों में इनके एक्टरों की परख होगी ही।
 सरबजीत- ओमंग कुमार ने मैरी कॉम में प्रियंका चोपड़ा से बढ़िया काम कराया था।  सरबजीत में वह वैसा ही काम दलबीर कौर की भूमिका में ऐश्वर्या राय बच्चन से करा पाएंगे, इसे दर्शक देखना चाहेंगे।  इस किरदार में ऐश्वर्या राय के एक्टर की कड़ी परीक्षा होगी।
धोनी : द अनटोल्ड स्टोरी- नीरज पाण्डेय की इस फिल्म में धोनी का रोल सुशांत सिंह राजपूत कर रहे हैं। वह सक्षम अभिनेता हैं। लेकिन, किसी रियल लाइफ किरदार में यह उनकी पहली परीक्षा है।  उनसे उम्मीद की जा सकती है।
दंगल- आमिर खान ने अब तक की अपनी तमाम फिल्मों में चरित्रों को स्वाभाविक रखा है।  लेकिन, दंगल इस लिहाज़ से अलग है कि यह वास्तविक चरित्र है।  एक साधारण इंसान के असाधारण व्यक्तित्व को आमिर खान कितनी आसानी से कर पाएंगे, यह तभी हो पायेगा जब वह खुद को हरियाणा का एक साधारण पहलवान जैसा पेश कर सकें।  क्या आमिर खान का सुपर स्टार इतना साधारण बन पायेगा ?
बायोपिक या वास्तविक घटनाओं पर फिल्मों को सशक्त स्क्रिप्ट की दरकार होती है।  अगर स्क्रिप्ट सशक्त है तो एक्टर का काम आसान हो जाता है।  लेकिन, इसके बावजूद एक्टर के किरदार में घुसने की क्षमता की परीक्षा होती है।  तभी वह खुद को उस किरदार के योग्य बना पाता है। ऐसी सशक्त फ़िल्में हिंदी दर्शक देखना पसंद करता है।

राजेंद्र कांडपाल