पाकिस्तान की जेल में मारे गए एक भारतीय कैदी सरबजीत पर बायोपिक फिल्म 'सरबजीत' में सरबजीत की बहन दलबीर कौर के अपने भाई को पाकिस्तान की जेल से निकाल कर भारत लाने की कोशिशों की दास्ताँ हैं। फिल्म में दलबीर कौर का किरदार बॉलीवुड की ग्लैमरस अभिनेत्री ऐश्वर्या राय बच्चन कर रही है हैं। ऐश्वर्या ने पिछले साल संजय गुप्ता की फिल्म 'जज़्बा' से ज़ोरदार वापसी की है। निर्देशक ओमंग कुमार की फिल्म में ऐश्वर्य को अभिनय के भिन्न रंग दिखाने का मौका मिलेगा। ओमंग कुमार ने प्रियंका चोपड़ा को लेकर 'मैरी कॉम' जैसी अवार्ड विनिंग फिल्म बनाई थी। इसलिए ऐश्वर्या के लिए भी बढ़िया मौका है। सरबजीत पंजाब के एक गाँव की कहानी है। ऐश्वर्या का किरदार देहाती किस्म का है। लेकिन, ओमंग अपनी फिल्म को बोरिंग नहीं बनाना चाहते। इसलिए फिल्म में नाच गीत हैं। पंजाबी प्रभाव वाले यह गीत फिल्म की कहानी उभरने वाले हैं। ऐसे ही एक गीत में ऐश्वर्या राय बच्चन, ऋचा चड्ढा और रणदीप हुडा पर फिल्माया गया है। पंजाबी भांगड़ा शैली के इस गीत के बोल 'तुगलक तुगलक तुन' हैं। इस गीत को सुनते समय 'जब वी मेट' के 'नगाड़ा नगाड़ा' गीत की याद आयेगी। इस गीत को 'रा...राजकुमार' के गीत 'गन्दी बात' के कोरियोग्राफर विष्णु देवा ने तैयार किया है। फिल्म का संगीत शैल-प्रीतेश का है और गीत संदीप सिंह ने लिखे हैं। इस गीत की शूटिंग अगले हफ्ते फिल्मसिटी में सेट तैयार कर की जाएगी।
भारतीय भाषाओँ हिंदी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़, मलयालम, पंजाबी, आदि की फिल्मो के बारे में जानकारी आवश्यक क्यों है ? हॉलीवुड की फिल्मों का भी बड़ा प्रभाव है. उस पर डिजिटल माध्यम ने मनोरंजन की दुनिया में क्रांति ला दी है. इसलिए इन सब के बारे में जानना आवश्यक है. फिल्म ही फिल्म इन सब की जानकारी देने का ऐसा ही एक प्रयास है.
Tuesday, 5 January 2016
जब दलबीर कौर थिरकेगी स्क्रीन पर
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मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
Sunday, 3 January 2016
बड़े परदे पर एक और वीडियो गेम्स का एक्शन
वीडियो गेम्स पर फिल्मो की सीरीज में डायरेक्टर डस्टिन कुर्ज़ेल की फिल्म 'असैसिन'स क्रीड' नया टाइटल जुड़ गया है। इसी टाइटल वाले पॉपुलर गेम्स पर इस फिल्म में डस्टिन कुर्ज़ेल एक बार फिर माइकल फॉस्बेंडर और मारिओं कोटिल्लार्ड के साथ काम कर रहे हैं। यह तिकड़ी अभी ११ दिसंबर को रिलीज़ फिल्म 'मैकबेथ' में एक साथ थे। एक्शन एडवेंचर 'असैसिन'स क्रीड' उसी यूनिवर्स पर है, जिसमे वीडियो गेम बनाया गया है। इस पहली फिल्म की कहानी भी वही है, जो आगे बढाती जायेगी। इस फिल्म में माइकल फॉस्बेंडर दोहरे चरित्र में होंगे। उनका पहला चरित्र १५ वी शताब्दी का तलवारबाज़ अगुइलर होगा तथा दूसरा करैक्टर आधुनिक समय का कैलम लिंच होगा। कथानक के अनुसार लिंच को पता चलता है कि उसके पूर्वज अगुइलर १५ वी शताब्दी के स्पेन के असैसिन योद्धा थे। कैलम, असैसिन के पुराने दुश्मन टेम्पलर्स को पराजित करने अगुइलर की स्मृतियों को पुनर्जीवित करता है ताकि असैसिन को पराजित करने वाली विद्या और कौशल को सीख सके। इस फिल्म में टेम्पलर्स की भूमिका ग्राहम करी ने की है। अन्य भूमिकाओं में ब्रेंडन ग्लीसन, जेरेमी आयरन्स, ब्रायन ग्लीसन, माइकल केनेथ विलियम्स, आदि के नाम उल्लेखनीय हैं।
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Saturday, 2 January 2016
बॉलीवुड के लिए प्रतिभाओं की जनवरी
प्रतिभा के लिहाज़ से, बॉलीवुड के लिए जनवरी का महीना फलदार पेड़ की तरह है। इस महीने प्रतिभाशाली अभिनेता, अभिनेत्रियां और डायरेक्टर मिले। इनमे से बॉलीवुड के इम्तिहान में कुछ फेल भी हुए और कुछ फर्स्ट क्लास निकले । इस महीने पैदा निर्देशकों ने भारतीय सिनेमा को नयापन दिया। कॉमेडी को नई दिशा दी। एक्टर्स ने अपने सजीव अभिनय से चरित्रों को अविस्मरणीय बना दिया।
अभिनेत्रियां सेक्सी भी और इमोशनल भी
जनवरी में पैदा अभिनेत्रियां अभिनय कला के लिहाज़ से बेजोड़ हैं। वह ग्लैमरस भी हैं और सेक्सी भी। इन अभिनेत्रीयों ने हिंदी फिल्मों की नायिका को नायक की परछाई से अलग अपनी पहचान दी। इन अभिनेत्रियों के कारण फ़िल्में बिकती भी हैं और देखी भी जाती हैं।
विद्या बालन- साल के पहले दिन, १ जनवरी १९७९ को पैदा विद्या बालन की पहचान अभिनय सक्षम अभिनेत्री के बतौर हैं। उनका केरल से मुंबई तक का सफर टेलीविज़न से हो कर जाता है। सीरियल हम पांच की यह नायिका आज परिणीता, डर्टी पिक्चर, कहानी, आदि फिल्मों में अपने कुशल अभिनय से पहचानी जाती हैं। उनको ध्यान में रख कर फ़िल्में लिखी जाने लगी है।
दीपिका पादुकोण- ५ जनवरी १९८६ को जन्मी दीपिका पादुकोण अभिनय और ग्लैमर का संगम हैं। वह २००७ से लगातार हर साल कम से कम एक हिट फिल्म दे रही हैं। इस साल रिलीज़ फिल्म पीकू और तमाशा में उनके अभिनय की भी प्रशंसा हुई।
बिपाशा बासु- ७ जनवरी १९७९ को जन्मी बिपाशा बासु ने अपनी सेक्स अपील के बल पर ही ए ग्रेड फिल्मों को फतह किया। उन्होंने इरोटिक थ्रिलर फिल्म जिस्म (२००३) से अपने करियर की शुरुआत की। ऎसी फिल्मों की अभिनेत्रियां एक ख़ास खांचे वाली फिल्मों के लिए ही उपयुक्त मानी जाती हैं। लेकिन, बिपाशा बासु ने खुद को इस ठप्पे से बचाते हुए नो एंट्री, फिर हेरा फेरी, रेस, धूम २, कॉर्पोरेट, अपहरण और बचना ऐ हसीनों जैसी बड़े बजट की भिन्न कथानकों वाली फ़िल्में की।
जनवरी में जन्मी कुछ अन्य अभिनेत्रियो में से एक प्रीटी जिंटा की कभी तूती बोला करती थी। उन्होंने लगभग हर बड़े सितारे के साथ फ़िल्में की। दक्षिण में अपनी अभिनय प्रतिभा का परचम लहराने के बाद श्रुति हासन और एमी जैक्सन हिंदी फिल्मों को जीतने आ गई हैं। प्रीटी जिंटा और एमी जैक्सन ३१ जनवरी को पैदा हुई। श्रुति हासन ने २८ जनवरी को दुनिया में पहली सांस ली। इनके अलावा कल्कि कोएच्लिन और पल्लवी शारदा १० जनवरी को, मिनिषा लाम्बा २८ जनवरी और रिया सेन २४ जनवरी को पैदा हुई अभिनेत्रियां हैं।
लाजवाब अभिनय वाले अभिनेता !
क्या यह इत्तेफ़ाक़ है कि अभिनेत्रियों की तरह जनवरी में बहुमुखी प्रतिभा के अभिनेताओं ने जन्म लिया। इन अभिनेताओं को अपने अभिनय के बूते हिंदी फिल्मों को नए प्रकार का नायक दिया। बॉक्स ऑफिस को एक्टर-स्टार दिया। गायक मुकेश के पोते नील नितिन मुकेश ने जॉनी गद्दार से दर्शकों को आकर्षित किया था। उन पर नेगेटिव किरदार ख़ास फबते हैं। ७ खून माफ़ और डेविड से दर्शकों को अपनी अभिनय प्रतिभा का लोहा मनवाने वाले नील नितिन मुकेश को दक्षिण के दर्शक सुपर हिट फिल्म कठ्ठी के विलेन के बतौर जानते हैं। श्रेयस तलपडे (२७ जनवरी) और चन्दन रॉय सान्याल (३० जनवरी) लीक से हट कर भूमिकाओं से अपनी पहचान बना चुके हैं। इनके अलावा आदित्य पंचोली (४ जनवरी), उदय चोपड़ा (५ जनवरी), इमरान खान, अध्ययन सुमन और अश्मित पटेल (१३ जनवरी), सिद्धार्थ मल्होत्रा (१६ जनवरी), सुशांत सिंह राजपूत (२१ जनवरी) और बॉबी देओल (२७ जनवरी) इसी महीने पैदा हुए।
नाना पाटेकर- १ जनवरी १९५१ को जन्मे नाना पाटेकर ने खुद की पहचान बीआर चोपड़ा की फिल्म 'आज की आवाज़' के विलेन के रूप में बनाई। अंकुश, तृषाग्नि, सलाम बॉम्बे, आदि कुछ फिल्मों में खुद को हरफनमौला अभिनेता साबित करने वाले नाना पाटेकर ने विधु विनोद चोपड़ा की फिल्म परिंदा के अन्ना सेठ की भूमिका में दर्शकों की रीढ़ में सिहरन पैदा कर दी। वह प्रहार के नायक और निर्देशक थे। तिरंगा, क्रांतिवीर, अग्निसाक्षी, टैक्सी नंबर ९२११, ब्लफ मास्टर, वेलकम, आदि उनकी अभिनय प्रतिभा और बॉक्स ऑफिस पर पकड़ को साबित करने वाली फ़िल्में थी।
इरफ़ान खान - नाना पाटेकर जैसी प्रतिभा ७ जनवरी १९६७ को पैदा इरफ़ान खान में भी नज़र आई। उन्होंने सलाम बॉम्बे से पीकू और जज़्बा तक खुद की प्रतिभा बार बार साबित की। इसी का नतीज़ा है कि वह हॉलीवुड फिल्मों में स्वीकार किये गए। इसी साल उन्हें जुरैसिक वर्ल्ड में देखा गया।
ह्रितिक रोशन- १० जनवरी १९७४ को जन्मे ह्रितिक रोशन सुन्दर सूरत और गठीले शरीर के कारण बॉक्स ऑफिस के पसंदीदा हैं। वह अपनी अभिनय प्रतिभा से भी फिल्म मिशन कश्मीर, फ़िज़ा, लक्ष्य, गुज़ारिश, ज़िन्दगी न मिलेगी दुबारा और अग्निपथ के दर्शकों को प्रभावित कर चुके हैं। उनकी सिंधु सभ्यता की पृष्ठभूमि पर फिल्म 'मोहन जोदड़ो' की दर्शकों को प्रतीक्षा है।
अलग तरह की फ़िल्में बनाने वाले निर्देशक
जनवरी में ऐसे निर्देशक जन्मे, जिन्होंने बॉलीवुड में मील का पत्थर साबित होने वाली फ़िल्में बनाई। फिल्मों को उत्कृष्ट तकनीक और गुणवत्ता प्रदान की। ख़ास बात यह थी कि हर डायरेक्टर की अपनी अलग दृष्टि थी। इससे हिंदी फिल्म दर्शकों को भिन्न शैली वाली फिल्में देखने को मिली।
फराह खान और फरहान अख्तर- इन दोनों हस्तियों की जन्म की तरीख बेशक ९ जनवरी है। लेकिन, दोनों की फ़िल्में बनाने की शैली काफी भिन्न है। फराह खान हलकी फुलकी कॉमेडी, कमोबेश स्पूफ फ़िल्में बनाती हैं। उन्होंने 'मैं हूँ न' और 'हैप्पी न्यू ईयर' जैसी सुपर हिट फ़िल्में बनाई हैं। वहीँ, फरहान अख्तर दिल चाहता है, लक्ष्य, डॉन और डॉन २ जैसी फिल्मों के निर्देशक हैं। यह सभी फ़िल्में भिन्न शैली की हैं। फराह खान ने फिल्म 'शीरीं फरहाद की तो निकल पड़ी' में नायिका की भूमिका की थी। फरहान अख्तर के खाते में दर्जन भर दूसरी फिल्मों के अलावा ' भाग मिल्खा भाग' जैसी यादगार फिल्म दर्ज़ है।
रमेश सिपप्पी - २३ जनवरी १९४७ को जन्मे रमेश सिप्पी ने जब 'अंदाज़' और 'सीता और गीता' जैसी सुपर हिट फिल्मों के ज़रिये बॉक्स ऑफिस पर अपनी पहचान बनाई उस समय वह मात्र २४ साल के थे। दर्शकों की नब्ज़ पहचानने वाल रमेश सिप्पी ने उस दौर में 'शोले' जैसी हिंसक फिल्म का निर्माण किया, जब रोमांटिक फिल्मों का दौर ख़त्म नहीं हुआ था। लेकिन, शोले जैसी उत्कृष्ट तकनीक वाली फिल्म बना कर, रमेश सिप्पी ने हिंदी फिल्मों को एक्शन धारा की ओर मोड़ा ही, उच्च तकनीक अपनाने के लिए भी प्रेरित किया।
सुभाष घई- २४ जनवरी ९४५ को जन्मे सुभाष घई को राजकपूर के बाद दूसरा शोमैन कहा गया। सुभाष घई की कालीचरण, विश्वनाथ और गौतम गोविंदा से लेकर क़र्ज़ और ताल तक फ़िल्में अपने मधुर संगीत और स्वप्निल भव्य सेट्स के कारण भी जानी जाती हैं। उन्होंने एक्शन फिल्मों के युग में भी हीरो, सौदागर, परदेस और ताल जैसी संगीतमय रोमांस फ़िल्में बनाई। यह फ़िल्में बॉक्स ऑफिस पर सफल भी हुई।
विक्रम भट्ट- २७ जनवरी १९६९ को जन्मे विक्रम भट्ट ने जनम और गुलाम जैसी हिट फिल्मों से अपने करियर शुरू किया। लेकिन, उन्हें हॉरर फिल्मों को जीवन देने वाला निर्देशक माना गया हॉरर फिल्म राज़ (२००२) के बाद। इस फिल्म ने भट्ट कैंप के लिए फ्रैंचाइज़ी फिल्मों का दरवाज़ा खोल दिया। फिल्म १९२० के बाद विक्रम भट्ट हॉरर फिल्मों के मसीहा बन गए। उन्होंने हॉन्टेड फिल्म को ३डी में बना कर हॉरर फिल्मों के लिए भी उत्कृष्ट तकनीक के रास्ते खोल दिए।
प्रियदर्शन- ३० जनवरी १९५७ को जन्मे प्रियदर्शन ने मलयालम फिल्मों से अपने करियर की शुरुआत की। दो दर्जन से ज़्यादा मलयालम फ़िल्में बनाने के बाद प्रियदर्शन फिल्म 'मुस्कराहट' से हिंदी फिल्मों में आये। इस फिल्म ने प्रियदर्शन को हिंदी दर्शको का प्रिय बना दिया। गर्दिश और विरासत जैसी भिन्न शैली वाली फिल्मों के बाद फिल्म 'हेरा फेरी' (२०००) ने प्रियदर्शन को अलग तरह की कॉमेडी फ़िल्में बनाने वाले निर्देशक के रूप में स्थापित कर दिया, जिसकी फ़िल्में संदेसा भी देती थी। 'भूल भुलैया' में प्रियदर्शन कॉमेडी और सुपर नेचुरल पावर का अनोखा मिश्रण कर रहे थे।
अभिनेत्रियां सेक्सी भी और इमोशनल भी
जनवरी में पैदा अभिनेत्रियां अभिनय कला के लिहाज़ से बेजोड़ हैं। वह ग्लैमरस भी हैं और सेक्सी भी। इन अभिनेत्रीयों ने हिंदी फिल्मों की नायिका को नायक की परछाई से अलग अपनी पहचान दी। इन अभिनेत्रियों के कारण फ़िल्में बिकती भी हैं और देखी भी जाती हैं।
विद्या बालन- साल के पहले दिन, १ जनवरी १९७९ को पैदा विद्या बालन की पहचान अभिनय सक्षम अभिनेत्री के बतौर हैं। उनका केरल से मुंबई तक का सफर टेलीविज़न से हो कर जाता है। सीरियल हम पांच की यह नायिका आज परिणीता, डर्टी पिक्चर, कहानी, आदि फिल्मों में अपने कुशल अभिनय से पहचानी जाती हैं। उनको ध्यान में रख कर फ़िल्में लिखी जाने लगी है।
दीपिका पादुकोण- ५ जनवरी १९८६ को जन्मी दीपिका पादुकोण अभिनय और ग्लैमर का संगम हैं। वह २००७ से लगातार हर साल कम से कम एक हिट फिल्म दे रही हैं। इस साल रिलीज़ फिल्म पीकू और तमाशा में उनके अभिनय की भी प्रशंसा हुई।
बिपाशा बासु- ७ जनवरी १९७९ को जन्मी बिपाशा बासु ने अपनी सेक्स अपील के बल पर ही ए ग्रेड फिल्मों को फतह किया। उन्होंने इरोटिक थ्रिलर फिल्म जिस्म (२००३) से अपने करियर की शुरुआत की। ऎसी फिल्मों की अभिनेत्रियां एक ख़ास खांचे वाली फिल्मों के लिए ही उपयुक्त मानी जाती हैं। लेकिन, बिपाशा बासु ने खुद को इस ठप्पे से बचाते हुए नो एंट्री, फिर हेरा फेरी, रेस, धूम २, कॉर्पोरेट, अपहरण और बचना ऐ हसीनों जैसी बड़े बजट की भिन्न कथानकों वाली फ़िल्में की।
जनवरी में जन्मी कुछ अन्य अभिनेत्रियो में से एक प्रीटी जिंटा की कभी तूती बोला करती थी। उन्होंने लगभग हर बड़े सितारे के साथ फ़िल्में की। दक्षिण में अपनी अभिनय प्रतिभा का परचम लहराने के बाद श्रुति हासन और एमी जैक्सन हिंदी फिल्मों को जीतने आ गई हैं। प्रीटी जिंटा और एमी जैक्सन ३१ जनवरी को पैदा हुई। श्रुति हासन ने २८ जनवरी को दुनिया में पहली सांस ली। इनके अलावा कल्कि कोएच्लिन और पल्लवी शारदा १० जनवरी को, मिनिषा लाम्बा २८ जनवरी और रिया सेन २४ जनवरी को पैदा हुई अभिनेत्रियां हैं।
लाजवाब अभिनय वाले अभिनेता !
क्या यह इत्तेफ़ाक़ है कि अभिनेत्रियों की तरह जनवरी में बहुमुखी प्रतिभा के अभिनेताओं ने जन्म लिया। इन अभिनेताओं को अपने अभिनय के बूते हिंदी फिल्मों को नए प्रकार का नायक दिया। बॉक्स ऑफिस को एक्टर-स्टार दिया। गायक मुकेश के पोते नील नितिन मुकेश ने जॉनी गद्दार से दर्शकों को आकर्षित किया था। उन पर नेगेटिव किरदार ख़ास फबते हैं। ७ खून माफ़ और डेविड से दर्शकों को अपनी अभिनय प्रतिभा का लोहा मनवाने वाले नील नितिन मुकेश को दक्षिण के दर्शक सुपर हिट फिल्म कठ्ठी के विलेन के बतौर जानते हैं। श्रेयस तलपडे (२७ जनवरी) और चन्दन रॉय सान्याल (३० जनवरी) लीक से हट कर भूमिकाओं से अपनी पहचान बना चुके हैं। इनके अलावा आदित्य पंचोली (४ जनवरी), उदय चोपड़ा (५ जनवरी), इमरान खान, अध्ययन सुमन और अश्मित पटेल (१३ जनवरी), सिद्धार्थ मल्होत्रा (१६ जनवरी), सुशांत सिंह राजपूत (२१ जनवरी) और बॉबी देओल (२७ जनवरी) इसी महीने पैदा हुए।
नाना पाटेकर- १ जनवरी १९५१ को जन्मे नाना पाटेकर ने खुद की पहचान बीआर चोपड़ा की फिल्म 'आज की आवाज़' के विलेन के रूप में बनाई। अंकुश, तृषाग्नि, सलाम बॉम्बे, आदि कुछ फिल्मों में खुद को हरफनमौला अभिनेता साबित करने वाले नाना पाटेकर ने विधु विनोद चोपड़ा की फिल्म परिंदा के अन्ना सेठ की भूमिका में दर्शकों की रीढ़ में सिहरन पैदा कर दी। वह प्रहार के नायक और निर्देशक थे। तिरंगा, क्रांतिवीर, अग्निसाक्षी, टैक्सी नंबर ९२११, ब्लफ मास्टर, वेलकम, आदि उनकी अभिनय प्रतिभा और बॉक्स ऑफिस पर पकड़ को साबित करने वाली फ़िल्में थी।
इरफ़ान खान - नाना पाटेकर जैसी प्रतिभा ७ जनवरी १९६७ को पैदा इरफ़ान खान में भी नज़र आई। उन्होंने सलाम बॉम्बे से पीकू और जज़्बा तक खुद की प्रतिभा बार बार साबित की। इसी का नतीज़ा है कि वह हॉलीवुड फिल्मों में स्वीकार किये गए। इसी साल उन्हें जुरैसिक वर्ल्ड में देखा गया।
ह्रितिक रोशन- १० जनवरी १९७४ को जन्मे ह्रितिक रोशन सुन्दर सूरत और गठीले शरीर के कारण बॉक्स ऑफिस के पसंदीदा हैं। वह अपनी अभिनय प्रतिभा से भी फिल्म मिशन कश्मीर, फ़िज़ा, लक्ष्य, गुज़ारिश, ज़िन्दगी न मिलेगी दुबारा और अग्निपथ के दर्शकों को प्रभावित कर चुके हैं। उनकी सिंधु सभ्यता की पृष्ठभूमि पर फिल्म 'मोहन जोदड़ो' की दर्शकों को प्रतीक्षा है।
अलग तरह की फ़िल्में बनाने वाले निर्देशक
जनवरी में ऐसे निर्देशक जन्मे, जिन्होंने बॉलीवुड में मील का पत्थर साबित होने वाली फ़िल्में बनाई। फिल्मों को उत्कृष्ट तकनीक और गुणवत्ता प्रदान की। ख़ास बात यह थी कि हर डायरेक्टर की अपनी अलग दृष्टि थी। इससे हिंदी फिल्म दर्शकों को भिन्न शैली वाली फिल्में देखने को मिली।
फराह खान और फरहान अख्तर- इन दोनों हस्तियों की जन्म की तरीख बेशक ९ जनवरी है। लेकिन, दोनों की फ़िल्में बनाने की शैली काफी भिन्न है। फराह खान हलकी फुलकी कॉमेडी, कमोबेश स्पूफ फ़िल्में बनाती हैं। उन्होंने 'मैं हूँ न' और 'हैप्पी न्यू ईयर' जैसी सुपर हिट फ़िल्में बनाई हैं। वहीँ, फरहान अख्तर दिल चाहता है, लक्ष्य, डॉन और डॉन २ जैसी फिल्मों के निर्देशक हैं। यह सभी फ़िल्में भिन्न शैली की हैं। फराह खान ने फिल्म 'शीरीं फरहाद की तो निकल पड़ी' में नायिका की भूमिका की थी। फरहान अख्तर के खाते में दर्जन भर दूसरी फिल्मों के अलावा ' भाग मिल्खा भाग' जैसी यादगार फिल्म दर्ज़ है।
रमेश सिपप्पी - २३ जनवरी १९४७ को जन्मे रमेश सिप्पी ने जब 'अंदाज़' और 'सीता और गीता' जैसी सुपर हिट फिल्मों के ज़रिये बॉक्स ऑफिस पर अपनी पहचान बनाई उस समय वह मात्र २४ साल के थे। दर्शकों की नब्ज़ पहचानने वाल रमेश सिप्पी ने उस दौर में 'शोले' जैसी हिंसक फिल्म का निर्माण किया, जब रोमांटिक फिल्मों का दौर ख़त्म नहीं हुआ था। लेकिन, शोले जैसी उत्कृष्ट तकनीक वाली फिल्म बना कर, रमेश सिप्पी ने हिंदी फिल्मों को एक्शन धारा की ओर मोड़ा ही, उच्च तकनीक अपनाने के लिए भी प्रेरित किया।
सुभाष घई- २४ जनवरी ९४५ को जन्मे सुभाष घई को राजकपूर के बाद दूसरा शोमैन कहा गया। सुभाष घई की कालीचरण, विश्वनाथ और गौतम गोविंदा से लेकर क़र्ज़ और ताल तक फ़िल्में अपने मधुर संगीत और स्वप्निल भव्य सेट्स के कारण भी जानी जाती हैं। उन्होंने एक्शन फिल्मों के युग में भी हीरो, सौदागर, परदेस और ताल जैसी संगीतमय रोमांस फ़िल्में बनाई। यह फ़िल्में बॉक्स ऑफिस पर सफल भी हुई।
विक्रम भट्ट- २७ जनवरी १९६९ को जन्मे विक्रम भट्ट ने जनम और गुलाम जैसी हिट फिल्मों से अपने करियर शुरू किया। लेकिन, उन्हें हॉरर फिल्मों को जीवन देने वाला निर्देशक माना गया हॉरर फिल्म राज़ (२००२) के बाद। इस फिल्म ने भट्ट कैंप के लिए फ्रैंचाइज़ी फिल्मों का दरवाज़ा खोल दिया। फिल्म १९२० के बाद विक्रम भट्ट हॉरर फिल्मों के मसीहा बन गए। उन्होंने हॉन्टेड फिल्म को ३डी में बना कर हॉरर फिल्मों के लिए भी उत्कृष्ट तकनीक के रास्ते खोल दिए।
प्रियदर्शन- ३० जनवरी १९५७ को जन्मे प्रियदर्शन ने मलयालम फिल्मों से अपने करियर की शुरुआत की। दो दर्जन से ज़्यादा मलयालम फ़िल्में बनाने के बाद प्रियदर्शन फिल्म 'मुस्कराहट' से हिंदी फिल्मों में आये। इस फिल्म ने प्रियदर्शन को हिंदी दर्शको का प्रिय बना दिया। गर्दिश और विरासत जैसी भिन्न शैली वाली फिल्मों के बाद फिल्म 'हेरा फेरी' (२०००) ने प्रियदर्शन को अलग तरह की कॉमेडी फ़िल्में बनाने वाले निर्देशक के रूप में स्थापित कर दिया, जिसकी फ़िल्में संदेसा भी देती थी। 'भूल भुलैया' में प्रियदर्शन कॉमेडी और सुपर नेचुरल पावर का अनोखा मिश्रण कर रहे थे।
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गणतंत्र दिवस वीकेंड पर 'एयरलिफ्ट'
०२ अगस्त १९९० को इराक ने कुवैत पर आक्रमण किया था। उस हमले के बाद की घटनाओं पर है यह फिल्म। इस फिल्म में रंजीत कत्याल की पत्नी उससे युद्धग्रस्त कुवैत से निकलने के लिए कहती है। तब रंजीत उसे समझाता है कि वह तभी जायेगा, जब यहाँ सब ठीक कर लेगा । यहाँ याद आते हैं आमिर खान, जो अपनी हिन्दू पत्नी किरण के कहने के बाद देश में घुटन महसूस करने लगते हैं । जबकि, एक कुवैती भारतीय इसे ठीक नहीं समझता। इस फिल्म का ट्रेलर गणतंत्र दिवस वीकेंड के लिए बेहद मौजू फिल्म साबित हो सकती है। अक्षय कुमार के संवाद तालियां बजवा लेंगे। लेकिन, ख़ास बात यह है कि इसी दिन एकता कपूर की पोर्न कॉमेडी फिल्म 'क्या कूल हैं हम ३' भी रिलीज़ हो रही है। सेक्स के पीछे पगलाए देश के युवाओं से उम्मीद कम है कि वह सेक्स कॉमेडी के बजाय एक देशभक्ति से भरपूर थ्रिलर देखने जायेंगे। बहरहाल, २२ जनवरी को यह साफ़ हो जायेगा कि देश में मैले में मुंह डालने वाले कितने सूअर हैं। फिलहाल देखिये ट्रेलर -
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टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस आउट ऑफ़ द शैडोज
२०१४ में बॉक्स ऑफिस पर ४९३ मिलियन डॉलर की मोटी कमाई करने वाली फिल्म 'टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस' को भला कौन भूल सकता है। हालाँकि, समीक्षकों ने फिल्म की आलोचना की थी, इसके बावजूद इस फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर बड़ी सफलता हासिल की थी । इसीलिए, अब एक बार फिर इस फिल्म के सीक्वल 'आउट ऑफ़ द शैडोज' को रिलीज़ किये जाने की तैयारी जोरों पर है। पिछले दिनों इस फिल्म का ट्रेलर रिलीज़ किया गया था। इस ट्रेलर में अप्रैल ओ'नील के किरदार में मेगन फॉक्स, वरन फेनविक के किरदार में विल अर्नेट, कैसी जोंस के किरदार में स्टेफेन अमल, एरिक सैक्स के किरदार में विलियम फिचनर और बैक्सटर स्टॉकमैन के किरदार में टाइलर पैरी नज़र आते हैं। फिल्म की कहानी के अनुसार द टर्टलस टीसीआरआई के विज्ञानी डॉक्टर बैक्सटर स्टॉकमैन के मुकाबले में आ जाते हैं। पुराना दुश्मन श्रेडर भी वापस आ गया है। उसने स्टॉकमैन को अपने अनुकूल नए म्युटेंटस बेबॉप और रॉकस्टेडी बनाने के निर्देश दिए हैं। न्यू यॉर्क सिटी पर नया खतरा मंडरा रहा है। दुनिया को ख़त्म होने से बचाने के लिए द टर्टलस अपने मानव साथियों अप्रिल ओ'नील और वरन फेनविक के साथ मुकाबले में आ जाते हैं। उनका साथ सजग कैसी जोन्स दे रहा है। उम्मीद की जानी चाहिए कि अपने पूर्ववर्ती जोनाथन लिएब्समैन की तरह इस फिल्म के निर्देशक डेव ग्रीन बढ़िया एक्शन फिल्म दे पाने में कामयाब होंगे। यह फिल्म ३ जून २०१६ को रिलीज़ होगी।
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Friday, 1 January 2016
पहले शुक्रवार की मनहूसियत
आज २०१६ की पहली तारिख (१ जनवरी) भी है और पहला शुक्रवार भी. इस पहले शुक्रवार को बॉलीवुड की कोई छोटी बड़ी फिल्म रिलीज़ नहीं होती. इस साल भी कोई भी हिंदी फिल्म आज रिलीज़ नहीं हुई है. बॉलीवुड किसी साल के पहले शुक्रवार को खुद के लिए बदकिस्मत मानता है. यानि पहले शुक्रवार रिलीज़ कोई भी फिल्म हिट नहीं होती। हालाँकि, २०११ में रिलीज़ निर्देशक राजकुमार गुप्ता की फिल्म 'नो वन किल्ड जेसिका' रानी मुख़र्जी और विद्या बालन की जोड़ी और बोल्ड संवादों के कारण हिट हो गई। लेकिन, उसी शुक्रवार रिलीज़ दूसरी फ़िल्म सयाली भगत की 'इम्पेशेंट विवेक' बुरी तरह से पिटी थी। इतना ही नहीं बॉलीवुड फिल्मों की बदकिस्मती में पहले शुक्रवार का बड़ा योगदान होता है। पहले शुक्रवार रिलीज़ हो कर आमिर खान की फिल्म 'मेला' बुरी पिटी थी। इसी फिल्म की असफलता के बाद बॉलीवुड पहले शुक्रवार से दहल गया था। पहले शुक्रवार असफल फिल्मों में इमरान हाश्मी की फिल्म 'जवानी दीवानी' (२००६), अर्जुन रामपाल, अमीषा पटेल और ज़ायेद खान की फिल्म 'वादा' (२००५), इश्क़ है तुमसे (२००४) और अक्षय कुमार की फिल्म तलाश (२००३) ख़ास हैं। पिछले साल तीन फ़िल्में 'इंटरनेशनल हीरो', 'टेक इट इजी' और 'मुंबई कैन डांस साला', २०१४ में जोए बी कार्वाल्हो और शोले ३डी, २०१३ में टेबल नंबर २१, मटरू की बिजली का मंडोला और देहरादून डायरी, २०१२ में निर्देशक जोड़ी अब्बास मुस्तान की अभिेषक बच्चन अभिनीत फिल्म 'प्लेयर्स' फ्लॉप हुई थी। हालाँकि, अगर इन रिलीज़ सभी फिल्मों पर एक नज़र डालें तो यह सभी फ़िल्में खराब बनी फ़िल्में थी। यह फ़िल्में चाहे किसी शुक्रवार रिलीज़ होती, असफल ही होती। अगर ऐसा न होता तो नो वन किल्ड जेसिका क्यों हिट होती?
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फिल्म पुराण
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
Wednesday, 30 December 2015
लाइव करैक्टर के साथ हु फ्रेम्ड रॉजर रैबिट
रॉबर्ट ज़ेमिकस निर्देशित फिल्म 'हु फ्रेम्ड रॉजर रैबिट' २२ जून १९८८ को रिलीज़ हुई थी। यह अमेरिकन फैंटसी कॉमेडी फिल्म इस मायने में ख़ास थी कि फिल्म में पहली बार मनुष्य चरित्रों के साथ एनीमेशन करैक्टर्स का उपयोग किया गया था। इस फिल्म की पटकथा जेफ्री प्राइस और पीटर एस सीमैन ने गैरी के वुल्फ के १९८१ को प्रकाशित उपन्यास 'हु सेंसर्ड रॉजर रैबिट' को आधारित कर लिखा था। यह फिल्म १९४७ के काल्पनिक हॉलीवुड के एनिमेटेड डिस्ट्रिक्ट 'टूनटाउन' की कहानी थी, जहाँ कार्टून करैक्टर मनुष्यों से नियमित बाते किया करते थे। एडी एक प्राइवेट डिटेक्टिव था, जो अपने भाई के साथ टूनटाउन में रहता था। एड़ी टून चरित्रों के साथ मिल कर जासूसी के काम करता था। लेकिन, एक टून करैक्टर द्वारा उसके भाई की हत्या के बाद वह शराब में डूब जाता है। १०४ मिनट लम्बी यह फिल्म ५८ मिलियन डॉलर से बनी थी। यह अपने समय की सबसे महंगी फिल्म थी तथा इसके कास्ट क्रेडिट भी सबसे लम्बी थी। इस फिल्म ने वर्ल्डवाइड ३२९.८ मिलियन डॉलर का बिज़नेस किया था। इस फिल्म में बॉब हॉकिन्स, क्रिस्टोफर लॉयड, जोअन्ना कसीडी और एलन टिल्वेन ने इंसानी किरदार किये थे। जबकि, चार्ल्स फ्लैशर ने रॉजर रैबिट, कैथलीन टर्नर ने जेसिका रैबिट, लोउ हिरश ने बेबी हरमन और डेविड लैंडर ने स्मार्ट एस के एनिमेटेड किरदारों को आवाज़े दी थी। इस फिल्म की ख़ास बात यह थी कि निर्माता स्टूडियो डिज्नी की इस फिल्म में वार्नर ब्रदर्स के टून करैक्टर बग्स बनी और डफ़्फ़ी डक भी डिज्नी के टून करैक्टर मिक्की माउस और डोनाल्ड डक के साथ लिए गए थे। वार्नर ब्रदर्स को डिज्नी द्वारा उनके कार्टून चरित्रों का फिल्म में उपयोग करने पर ऐतराज़ नहीं था। लेकिन, उन्होंने शर्त लगा दी थी कि उनके करैक्टर डिज्नी के टून चरित्रों के बराबर ही दिखाए जायेंगे। यही कारण था कि जहां जहाँ भी मिकी माउस और डोनाल्ड डक दिखाए गए थे, वहां वहां बग्स बनी और डफी डक भी साथ थे। यह इकलौती फिल्म थी, जिसमे डिज्नी और वार्नर के कार्टून चरित्र साथ थे।
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रॉबर्ट लंगडोन की थ्रीक्वेल फिल्म 'इन्फर्नो' में इरफ़ान खान
सोनी पिक्चर्स द्वारा जारी तस्वीरों में टॉम हैंक्स, फ़ेलिसिटी जोंस के साथ भागते नज़र आ रहे हैं। डायरेक्टर रोन होवार्ड का थ्रीकुएल इन्फर्नो टॉम हैंक्स के करैक्टर रॉबर्ट लंगडोन के साथ तीसरी ब्लॉकबस्टर मिस्ट्री बताई जा रही हैं। यह फिल्म डान ब्राउन के इसी नाम के उपन्यास पर आधारित फिल्म है। डान ब्राउन ने प्रोफेसर रॉबर्ट लंगडोन के काल्पनिक करैक्टर के साथ चार उपन्यास 'एंजेल्स एंड डीमॉन्स' (२०००), डा विन्ची कोड (२००३), द लॉस्ट सिंबल (२००९) और इन्फर्नो (२०१३) लिखे थे। पहले दो उपन्यासों पर इसी टाइटल के साथ बनी फिल्मों में टॉम हैंक्स ने प्रोफेसर रॉबर्ट लंगडोन के किरदार किये थे। अब वह तीसरी बार इस तीसरी कड़ी में इस किरदार को कर रहे हैं। प्रोफेसर रॉबर्ट लंगडोन सिंबलोजिस्ट (चिन्ह विशेषज्ञ) है। इन्फर्नो में वह जब इटली के एक हॉस्पिटल में आँख खोलता है तो सब कुछ भूल चूका है। वह एक डॉक्टर सिएना ब्रुक्स की मदद से अपनी खोई यादें वापस पाना चाहता है। क्योंकि, तभी वह एक सिरफिरे को दांते की अमर पुस्तिका के ज़रिये दुनिया में प्लेग फैलाने से रोक सकता है। फिल्म में डॉक्टर सिएना ब्रुक्स का किरदार द थ्योरी ऑफ़ एवरीथिंग की नायिका फ़ेलिसिटी जोंस, हैरी सिम्स का किरदार बॉलीवुड अभिनेता इरफ़ान खान, क्रिस्टोफर ब्रूडर का किरदार द इनटॉचबलस के ओमर सय और डॉक्टर एलिज़ाबेथ सिंस्की का किरदार बोरगेन की बाबेट्ट कनडसेन कर रहे हैं। फिल्म के मुख्य विलेन वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन के हेड का किरदार लोन सर्वाइवर के बेन फोस्टर कर रहे हैं। इन्फर्नो की पटकथा डेविड कोएप ने लिखी है। फिल्म २८ अक्टूबर २०१६ को रिलीज़ होगी।
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Monday, 28 December 2015
शिव को पूर्णता की और ले जाने वाली फिल्म 'शिवाय'
आगामी फिल्म 'शिवाय' में अजय देवगन बतौर अभिनेता और निर्देशक नज़र आएंगे। बतौर निर्देशक उनकी पहली फिल्म 'यू मी और हम' थी, जो २००८ में रिलीज़ हुई थी। पत्नी काजोल के साथ उनकी यह फिल्म फ्लॉप हुई थी। अब आठ साल बाद वह निर्देशन की कमान सम्हाल रहे हैं तो फिल्म का विषय बदला हुआ है। उनकी बतौर निर्देशक दूसरी फिल्म 'शिवाय' एक धुंआधार एक्शन से भरपूर ड्रामा फिल्म है। इस फिल्म में अजय देवगन ने सांस रोक देने वाले एक्शन किये हैं। इसका अंदाज़ा तस्वीर देख कर लगाया जा सकता है, जिसमे वह पहाड़ की ऊंचाई से लटके नज़र आ रहे हैं। इस फिल्म की एक दूसरी ख़ास बात यह है कि फिल्म में अजय देवगन की नायिका १८ साल की सयेशा सैगल हैं। छियालीस साल के अजय देवगन की १८ साल की नायिका कोई अजूबा बात नहीं। यहाँ ख़ास यह है कि सयेशा सैगल दिलीप कुमार और सायरा बानो की भांजी शाहीन और अभिनेता सुमीत सैगल की बेटी है। यहाँ एक ख़ास बात यह भी है कि दिलीप कुमार को शाहीन और सुमीत की मुस्लिम हिन्दू शादी बिलकुल नापसंद थी। उन्होंने इसे व्यक्त करने से परहेज़ भी नहीं किया। इन दोनों परिवारों का मिलना जुलना भी खबर नहीं बना। शिवाय आधुनिक शिव पर या यो कहा जाये कि भगवान शिव के मानवीय पहलू पर फिल्म है। यह फिल्म शिव के अधूरेपन और पूर्णता पाने के सफर को दर्शाने वाली फिल्म है। इस फिल्म में शिवाय के रोल में अजय देवगन है और सयेशा सति के किरदार मे हैं। फिल्म की कथा- पटकथा संदीप श्रीवास्तव ने लिखी है। इस फिल्म की तमाम शूटिंग बुल्गारिया, हैदराबाद और उत्तराखंड में होगी। २०१६ की दीपावली के वीकेंड में २८ अक्टूबर को रिलीज़ होने जा रही इस फिल्म का बजट २५० करोड़ का है। इस फिल्म को करण जौहर की फिल्म 'ऐ दिल है मुश्किल' से मुक़ाबला करना पड़ सकता है।
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ये ल्लों !!!
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बॉबी देओल के साथ मोनिका डोगरा की थ्रिलर 'चंगेज़'
मोनिका डोगरा अपने अंदाज़ के म्यूजिक के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने फिल्म ब्रेक के बाद के लिए दूरियां भी हैं ज़रूरी जैसा मशहूर गीत गया है। उनका एक इलेक्ट्रॉनिक रॉक ग्रुप शाइर है। उन्होंने बतौर अभिनेत्री फिल्म रॉक ऑन में एक छोटी भूमिका की थी। आमिर खान की बीवी किरण राव की फिल्म 'धोबी घाट' की वह नायिका थी। भारतीय मूल की अमेरिकन सिंगर-एक्ट्रेस मोनिका डोगरा ने अपने अपने दम पर अपना यह मुकाम बनाया है । नए
साल में यह ज़बरदस्त कलाकार एक नयी शुरुआत करने जा रही है। वह फ़िल्म चंगेज़ में बॉबी देओल के साथ नज़र आएँगी । चंगेज़ को बॉबी देओल की
धमाकेदार वापसी से जोड़ कर देखा जा रहा है । यह फ़िल्म 2016 में शुरू होने जा रही है और इसका पहला
शूट भी राजधानी नयी दिल्ली में होने जा रहा है ।गज़ब की सर्दी में दिल्ली की तमाम
लोकेशन्स को इस फ़िल्म में दर्शाया जायेगा । विवेक सिंह चौहान के निर्देशन में बनने
वाली इस डार्क एक्शन थ्रिलर में मोनिका डोगरा एक हिंदुस्तानी किरदार निभा रही हैं । इस फिल्म के बारे में बात करते हुए मोनिका कहती हैं," मैं नए साल की शुरुआत चंगेज़ की शूटिंग के साथ
करने जा रही हूँ । इस फ़िल्म में मेरा रोल बेहद चैलेंजिंग है और यह अपनी तरह का एक अलग ही
किरदार है । इस किरदार के बारे में अभी मैं सिर्फ इतना कह सकती हूँ कि यह थोडा सा बदमाश तरीके का है । जहाँ
तक बॉबी देओल का सवाल है वह बहुत कुछ मेरे जैसे ही है। वह विनम्र हैं, दयालु हैं, क्रेजी हैंडसम हैं और एक ऐसे कलाकार हैं जो
पूरी तरह से अपनी कला को समर्पित है ।"
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मोनिका डोगरा,
हस्तियां
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Sunday, 27 December 2015
'सरबजीत' की शूटिंग शुरू
आखिरकार पाकिस्तानी जेल में मारे गए भारतीय कैदी सरबजीत सिंह पर फिल्म 'सरबजीत' की शूटिंग मुंबई में शुरू हो गई। यह फिल्म सरबजीत की बहन दलबीर कौर की सरबजीत को पाकिस्तानी जेल से छुड़ाने के लिए किये गए संघर्ष की कहानी है। फिल्म में दलबीर की भूमिका के लिए शुरू में सोनाक्षी सिन्हा को लिया गया था। यकायक सोनाक्षी द्वारा फिल्म छोड़ देने के बाद उनकी जगह ऐश्वर्या राय बच्चन आ गई। ऐश्वर्या की इसी साल वापसी फिल्म 'जज़्बा' रिलीज़ हुई है। 'सरबजीत' का निर्देशन मैरी कॉम के डायरेक्टर ओमंग कुमार कर रहे हैं। फिल्म में सरबजीत की भूमिका में रणदीप हुडा हैं। ऋचा चड्ढा सरबजीत की पत्नी की सशक्त भूमिका में हैं। मैरी कॉम में मैरी कॉम के पति का किरदार करने वाले दर्शन कुमार सरबजीत के वकील की भूमिका में हैं। मुंबई में फिल्म की शूटिंग के बाद इसका अगला शिड्यूल पंजाब में अमृतसर, मालेकोटला, भिकिपिंड और पटियाला में होगा। 'सरबजीत' २० मई २०१६ को रिलीज़ होगी।
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बड़े सितारों का ही होगा २०१६ भी
२०१५ के ख़त्म होते होते हॉलीवुड से एक फिल्म 'स्टार वार्स : द फ़ोर्स अवकेंस' २५ दिसंबर को रिलीज़ होगी। यह फिल्म दुनिया के सिनेमाघरों में से केवल आईमैक्स इफेक्ट्स में रिलीज़ हो कर ही सुपर हिट साबित हो चुकी है। इस फिल्म को देखने के बाद भारतीय दर्शक भी किसी हिंदी फिल्म को आईमैक्स इफ़ेक्ट में देखने की चाहत रखेंगे। क्या २०१६ में कोई आईमैक्स इफेक्ट्स के साथ हिंदी फिल्म रिलीज़ हो सकती है? फिलहाल तो इसका जवाब बड़ा-सा 'न' है। आईमैक्स तकनीक पर बनी फ़िल्में महंगी तो होती ही हैं, हिंदुस्तान में आईमैक्स थिएटर्स का अभाव भी है। इस समय हमारे देश में केवल ८ आईमैक्स थिएटर हैं। यहाँ तक कि दिल्ली-एनसीआर रीजन में भी कोई आईमैक्स थिएटर नहीं है। ऐसे में बॉलीवुड या दक्षिण के फिल्म निर्माता अगले कई सालों तक आईमैक्स फ़िल्में बना भी सकेंगे, इसकी उम्मीद भी नहीं की जानी चाहिए।
वास्तविकता तो यह है कि बॉलीवुड को त्रिआयामी फिल्मों में भी ख़ास रूचि नहीं। पिछले साल रेमो डिसूज़ा की फिल्म 'एबीसीडी २' को त्रिआयामी प्रभाव में रिलीज़ किया गया था। इस फिल्म को ठीक ठाक सफलता मिली थी। २०१६ में किसी दूसरी ३डी फिल्म की उम्मीद दक्षिण से ही की जा सकती है। बाहुबली द कंक्लूजन' की रिलीज़ २०१७ कर दी गई है। वैसे दूसरी ३डी फिल्म दक्षिण के सुपर स्टार रजनीकांत की 'एंधिरन २' (रोबोट २) हो सकती है। रेमो की अगली फिल्म 'फ्लाइंग जट्ट' भी ३डी प्रभाव के साथ बनाई जा रही है।
बॉलीवुड फ़िल्में सौ करोड़ बजट का आंकड़ा तो ज़रूर छू पा रही हैं। लेकिन, तकनीक उत्कृष्टता के लिहाज़ से आज भी पीछे हैं। हॉलीवुड बड़ी संख्या में डॉल्बी अटमॉस साउंड सिस्टम पर काफी फ़िल्में बना रहा हैं। लेकिन, हिंदुस्तान में पहली बार २०१२ में रजनीकांत की फिल्म 'शिवाजी ३डी' डॉल्बी अटमॉस इफ़ेक्ट के साथ रिलीज़ हुई थी। इसके बाद से अब तक कोई १०० से ज़्यादा भारतीय फ़िल्में इस तकनीक से बनाई जा चुकी है। डॉल्बी अटमॉस वाली हिंदी फिल्मों में किक, रेस २, धूम ३, आदि फिल्मों में नाम उल्लेखनीय हैं। वैसे देश में इस तकनीक में सिनेमाघर बदलने का सिलसिला शुरू हो गया है। लेकिन २०१६ में डॉल्बी अटमॉस तकनीक पर केवल एक हिंदी फिल्म 'अज़हर' के बनाये जाने की सूचना है।
बॉलीवुड सिनेमाघरों के अभाव में महँगी तकनीक पर फ़िल्में बनाने से कतरा ज़रूर रहा है। लेकिन, बड़े सितारों वाली महंगी फ़िल्में बनाने में उसे गुरेज़ नहीं। २०१६ में एक बार फिर बड़े सितारों वाली, बड़े बजट की फिल्में प्रदर्शित होंगी। इस साल तीनों खानों की फ़िल्में रिलीज़ होनी हैं। शाहरुख़ खान की दो फ़िल्में रिलीज़ होंगी। अक्षय कुमार अपनी अलग विषय वाली फिल्मों से चर्चाओं में रहेंगे। अजय देवगन बतौर निर्देशक नज़र आएंगे। आइये नज़र डालते हैं ऎसी कुछ फिल्मों पर -
रोबोट २ - निर्देशक शंकर की इस फिल्म को हिंदी में 'रोबोट २' और तमिल में 'एंधिरन २' टाइटल के साथ बनाया जा रहा है। २०१० में रिलीज़ रजनीकांत की सफल फिल्म 'एंधिरन' की इस रीमेक फिल्म को '२.०' टाइटल से भी रिलीज़ किया जा सकता है। इस फिल्म का हिंदी दर्शकों के लिए महत्व इसलिए नहीं कि यह तमिल के साथ हिंदी में भी बनाई जा रही है, बल्कि इस फिल्म में बॉलीवुड के सितारे अक्षय कुमार विलेन के किरदार मे होंगे। पहले इस रोल के लिए आमिर खान, विक्रम और हॉलीवुड अभिनेता अर्नाल्ड श्वार्ज़नेगर के नामों पर भी विचार हुआ था ।
वज़ीर- बिजॉय नाम्बियार निर्देशित फिल्म 'वज़ीर' एक अपाहिज शतरंज के ग्रैंड मास्टर खिलाड़ी (अमिताभ बच्चन) और एक एटीएस अफसर (फरहान अख्तर) की दोस्ती की थ्रिल भरी कहानी है। इस फिल्म से जुडी ख़ास बात यह है कि वज़ीर विधु विनोद चोपड़ा की पहली हॉलीवुड फिल्म बनने वाली थी। फिल्म में डस्टिन हॉफमैन को लिया जाना था। लेकिन, इसके निर्माता की अकस्मात् मौत के बाद फिल्म में काफी बदलाव हो गए। फिल्म की अन्य भूमिकाओं में जॉन अब्राहम, अदिति राव हैदरी, मानव कौल, आदि के नाम उल्लेखनीय है। परन्तु, वज़ीर की भूमका नील नितिन मुकेश कर रहे हैं।
एयरलिफ्ट- यह फिल्म १९९० की उस सत्य घटना पर आधारित है जब कुवैत मे फंसे १ लाख ११ हजार भारतीयों को, एक कुवैती व्यापारी की मदद से हवाई मार्ग से बाहर निकाला गया था। इस कुवैती व्यापारी रंजीत कत्याल की भूमिका अक्षय कुमार कर रहे हैं। इस फिल्म के लिए अक्षय कुमार ने अरबी भाषा सीखी है। राजा कृष्ण मेनन निर्देशित फिल्म में निम्रत कौर अक्षय की बीवी के किरदार में हैं।
फितूर- चार्ल्स डिकेन्स के उपन्यास ग्रेट एक्सपेक्टेशंस पर आधारित अभिषेक कपूर की फिल्म है फितूर। पिछले दिनों इस फिल्म की चर्चा अभिनेत्री रेखा द्वारा बीच में फिल्म छोड़ देने के कारण हुई थी। अब फिल्म में रेखा की जगह तब्बू ने ले ली है। मुख्य भूमिका कैटरीना कैफ और आदित्य रॉय कपूर की है। इस फिल्म की तमाम शूटिगं कश्मीर में हुई है।
तीनों खान अभिनेताओं की फ़िल्में- २०१६ में शाहरुख़ खान की दो फ़िल्में 'फैन' और 'रईस' रिलीज़ होंगी। मनीष शर्मा निर्देशित फिल्म 'फैन' और राहुल ढोलकिया निर्देशित 'रईस' रिलीज़ होंगी। रईस से एक पाकिस्तानी एक्ट्रेस माहिर खान का बॉलीवुड डेब्यू हो रहा है। एक दूसरी पाक़ी एक्ट्रेस मावरा हुसैन की फिल्म 'सनम तेरी कसम' भी इसी साल प्रदर्शित होगी। सलमान खान की फिल्म सुल्तान और आमिर खान की फिल्म दंगल भी २०१६ में रिलीज़ होंगी।
बायोपिक फ़िल्में- इस साल कुछ बायोपिक फ़िल्में भी रिलीज़ होनी है। जहाँ, एयरलिफ्ट एक कुवैती भारतीय द्वारा कुवैत में फंसे भारतीयों को बाहर निकालने की साहसिक कहानी थी। वहीँ, 'दंगल' हरियाणा के एक पहलवान महावीर फोगाट द्वारा अपनी बेटियों बबिता और गीता को कुश्ती के लिए तैयार कर विश्व स्तरीय पहलवान बनाने की कहानी है। आमिर खान महावीर फोगाट के किरदार में हैं। पाकिस्तान की जेल में मारे गए भारतीय कैदी सरबजीत सिंह की बहन दलबीर के सरबजीत को छुड़ाने के लिए किये गए प्रयासों की कहानी है ओमंग कुमार निर्देशित फिल्म 'सरबजीत' । इस फिल्म में सरबजीत की बहन का किरदार ऐश्वर्या राय बच्चन कर रही है। एक दूसरी बायोपिक मशहूर क्रिकेटर मोहम्मद अज़हरुद्दीन पर बनाई जा रही है। टोनी डी सूज़ा निर्देशित फिल्म 'अज़हर' में अज़हरुद्दीन का किरदार इमरान हाशमी कर रहे हैं। भारतीय हवाई जहाज का अपहरण कर कंधार ले जाने की १९८६ की घटना पर राम माधवानी की फिल्म 'नीरजा' में अभिनेत्री सोनम कपूर जहाज की एयर होस्टेस नीरजा भनोट का किरदार कर रही हैं, जिसे यात्रियों को बचाने के कारण आतंकवादियों ने मार डाला था ।
सीक्वल फ़िल्में - घायल की रिलीज़ के २५ साल बाद सनी देओल इसके सीक्वल 'घायल वन्स अगेन' का निर्देशन कर रहे हैं। उनके साथ मुख्य भूमिका में सोहा अली खान हैं। एकता कपूर की क्या कूल हैं हम सीरीज की तीसरी फिल्म 'क्या सुपर कूल हैं हम ३' इस बार एडल्ट कॉमेडी नहीं पोर्न कॉमेडी फिल्म बताई जा रही है। प्रकाश झा की २००३ की हिट फिल्म 'गंगाजल' का लेडीज सीक्वल 'जय गंगाजल' में प्रियंका चोपड़ा पुलिस अधिकारी की भूमिका में होंगी। मस्ती और ग्रैंड मस्ती की तीसरी एडल्ट कॉमेडी फिल्म है 'ग्रेट ग्रैंड मस्ती' । साजिद खान की हाउसफुल सीरीज की तीसरी फिल्म 'हाउसफुल ३' जून में रिलीज़ होगी।
उपरोक्त फिल्मों के अलावा ह्रितिक रोशन और आशुतोष गोवारिकर की जोड़ी 'मोहन जोदड़ो' लेकर आ रही है। सिंधु सभ्यता पर यह फिल्म १२ अगस्त को रिलीज़ हो सकती है। अजय देवगन 'शिवाय' फिल्म के एक्टर- डायरेक्टर होंगे। इस फिल्म से दिलीप कुमार की नातिन सयेशा सैगल का फिल्म डेब्यू हो रहा है। रणबीर कपूर और कैटरीना कैफ की फिल्म 'जग्गा जासूस' और टाइगर श्रॉफ की रेमो डीसूजा निर्देशित फिल्म 'फ्लाइंग जट्ट' सुपर पावर रखने वाले चरित्रों की कहानियाँ हैं।
वास्तविकता तो यह है कि बॉलीवुड को त्रिआयामी फिल्मों में भी ख़ास रूचि नहीं। पिछले साल रेमो डिसूज़ा की फिल्म 'एबीसीडी २' को त्रिआयामी प्रभाव में रिलीज़ किया गया था। इस फिल्म को ठीक ठाक सफलता मिली थी। २०१६ में किसी दूसरी ३डी फिल्म की उम्मीद दक्षिण से ही की जा सकती है। बाहुबली द कंक्लूजन' की रिलीज़ २०१७ कर दी गई है। वैसे दूसरी ३डी फिल्म दक्षिण के सुपर स्टार रजनीकांत की 'एंधिरन २' (रोबोट २) हो सकती है। रेमो की अगली फिल्म 'फ्लाइंग जट्ट' भी ३डी प्रभाव के साथ बनाई जा रही है।
बॉलीवुड फ़िल्में सौ करोड़ बजट का आंकड़ा तो ज़रूर छू पा रही हैं। लेकिन, तकनीक उत्कृष्टता के लिहाज़ से आज भी पीछे हैं। हॉलीवुड बड़ी संख्या में डॉल्बी अटमॉस साउंड सिस्टम पर काफी फ़िल्में बना रहा हैं। लेकिन, हिंदुस्तान में पहली बार २०१२ में रजनीकांत की फिल्म 'शिवाजी ३डी' डॉल्बी अटमॉस इफ़ेक्ट के साथ रिलीज़ हुई थी। इसके बाद से अब तक कोई १०० से ज़्यादा भारतीय फ़िल्में इस तकनीक से बनाई जा चुकी है। डॉल्बी अटमॉस वाली हिंदी फिल्मों में किक, रेस २, धूम ३, आदि फिल्मों में नाम उल्लेखनीय हैं। वैसे देश में इस तकनीक में सिनेमाघर बदलने का सिलसिला शुरू हो गया है। लेकिन २०१६ में डॉल्बी अटमॉस तकनीक पर केवल एक हिंदी फिल्म 'अज़हर' के बनाये जाने की सूचना है।
बॉलीवुड सिनेमाघरों के अभाव में महँगी तकनीक पर फ़िल्में बनाने से कतरा ज़रूर रहा है। लेकिन, बड़े सितारों वाली महंगी फ़िल्में बनाने में उसे गुरेज़ नहीं। २०१६ में एक बार फिर बड़े सितारों वाली, बड़े बजट की फिल्में प्रदर्शित होंगी। इस साल तीनों खानों की फ़िल्में रिलीज़ होनी हैं। शाहरुख़ खान की दो फ़िल्में रिलीज़ होंगी। अक्षय कुमार अपनी अलग विषय वाली फिल्मों से चर्चाओं में रहेंगे। अजय देवगन बतौर निर्देशक नज़र आएंगे। आइये नज़र डालते हैं ऎसी कुछ फिल्मों पर -
रोबोट २ - निर्देशक शंकर की इस फिल्म को हिंदी में 'रोबोट २' और तमिल में 'एंधिरन २' टाइटल के साथ बनाया जा रहा है। २०१० में रिलीज़ रजनीकांत की सफल फिल्म 'एंधिरन' की इस रीमेक फिल्म को '२.०' टाइटल से भी रिलीज़ किया जा सकता है। इस फिल्म का हिंदी दर्शकों के लिए महत्व इसलिए नहीं कि यह तमिल के साथ हिंदी में भी बनाई जा रही है, बल्कि इस फिल्म में बॉलीवुड के सितारे अक्षय कुमार विलेन के किरदार मे होंगे। पहले इस रोल के लिए आमिर खान, विक्रम और हॉलीवुड अभिनेता अर्नाल्ड श्वार्ज़नेगर के नामों पर भी विचार हुआ था ।
वज़ीर- बिजॉय नाम्बियार निर्देशित फिल्म 'वज़ीर' एक अपाहिज शतरंज के ग्रैंड मास्टर खिलाड़ी (अमिताभ बच्चन) और एक एटीएस अफसर (फरहान अख्तर) की दोस्ती की थ्रिल भरी कहानी है। इस फिल्म से जुडी ख़ास बात यह है कि वज़ीर विधु विनोद चोपड़ा की पहली हॉलीवुड फिल्म बनने वाली थी। फिल्म में डस्टिन हॉफमैन को लिया जाना था। लेकिन, इसके निर्माता की अकस्मात् मौत के बाद फिल्म में काफी बदलाव हो गए। फिल्म की अन्य भूमिकाओं में जॉन अब्राहम, अदिति राव हैदरी, मानव कौल, आदि के नाम उल्लेखनीय है। परन्तु, वज़ीर की भूमका नील नितिन मुकेश कर रहे हैं।
एयरलिफ्ट- यह फिल्म १९९० की उस सत्य घटना पर आधारित है जब कुवैत मे फंसे १ लाख ११ हजार भारतीयों को, एक कुवैती व्यापारी की मदद से हवाई मार्ग से बाहर निकाला गया था। इस कुवैती व्यापारी रंजीत कत्याल की भूमिका अक्षय कुमार कर रहे हैं। इस फिल्म के लिए अक्षय कुमार ने अरबी भाषा सीखी है। राजा कृष्ण मेनन निर्देशित फिल्म में निम्रत कौर अक्षय की बीवी के किरदार में हैं।
फितूर- चार्ल्स डिकेन्स के उपन्यास ग्रेट एक्सपेक्टेशंस पर आधारित अभिषेक कपूर की फिल्म है फितूर। पिछले दिनों इस फिल्म की चर्चा अभिनेत्री रेखा द्वारा बीच में फिल्म छोड़ देने के कारण हुई थी। अब फिल्म में रेखा की जगह तब्बू ने ले ली है। मुख्य भूमिका कैटरीना कैफ और आदित्य रॉय कपूर की है। इस फिल्म की तमाम शूटिगं कश्मीर में हुई है।
तीनों खान अभिनेताओं की फ़िल्में- २०१६ में शाहरुख़ खान की दो फ़िल्में 'फैन' और 'रईस' रिलीज़ होंगी। मनीष शर्मा निर्देशित फिल्म 'फैन' और राहुल ढोलकिया निर्देशित 'रईस' रिलीज़ होंगी। रईस से एक पाकिस्तानी एक्ट्रेस माहिर खान का बॉलीवुड डेब्यू हो रहा है। एक दूसरी पाक़ी एक्ट्रेस मावरा हुसैन की फिल्म 'सनम तेरी कसम' भी इसी साल प्रदर्शित होगी। सलमान खान की फिल्म सुल्तान और आमिर खान की फिल्म दंगल भी २०१६ में रिलीज़ होंगी।
बायोपिक फ़िल्में- इस साल कुछ बायोपिक फ़िल्में भी रिलीज़ होनी है। जहाँ, एयरलिफ्ट एक कुवैती भारतीय द्वारा कुवैत में फंसे भारतीयों को बाहर निकालने की साहसिक कहानी थी। वहीँ, 'दंगल' हरियाणा के एक पहलवान महावीर फोगाट द्वारा अपनी बेटियों बबिता और गीता को कुश्ती के लिए तैयार कर विश्व स्तरीय पहलवान बनाने की कहानी है। आमिर खान महावीर फोगाट के किरदार में हैं। पाकिस्तान की जेल में मारे गए भारतीय कैदी सरबजीत सिंह की बहन दलबीर के सरबजीत को छुड़ाने के लिए किये गए प्रयासों की कहानी है ओमंग कुमार निर्देशित फिल्म 'सरबजीत' । इस फिल्म में सरबजीत की बहन का किरदार ऐश्वर्या राय बच्चन कर रही है। एक दूसरी बायोपिक मशहूर क्रिकेटर मोहम्मद अज़हरुद्दीन पर बनाई जा रही है। टोनी डी सूज़ा निर्देशित फिल्म 'अज़हर' में अज़हरुद्दीन का किरदार इमरान हाशमी कर रहे हैं। भारतीय हवाई जहाज का अपहरण कर कंधार ले जाने की १९८६ की घटना पर राम माधवानी की फिल्म 'नीरजा' में अभिनेत्री सोनम कपूर जहाज की एयर होस्टेस नीरजा भनोट का किरदार कर रही हैं, जिसे यात्रियों को बचाने के कारण आतंकवादियों ने मार डाला था ।
सीक्वल फ़िल्में - घायल की रिलीज़ के २५ साल बाद सनी देओल इसके सीक्वल 'घायल वन्स अगेन' का निर्देशन कर रहे हैं। उनके साथ मुख्य भूमिका में सोहा अली खान हैं। एकता कपूर की क्या कूल हैं हम सीरीज की तीसरी फिल्म 'क्या सुपर कूल हैं हम ३' इस बार एडल्ट कॉमेडी नहीं पोर्न कॉमेडी फिल्म बताई जा रही है। प्रकाश झा की २००३ की हिट फिल्म 'गंगाजल' का लेडीज सीक्वल 'जय गंगाजल' में प्रियंका चोपड़ा पुलिस अधिकारी की भूमिका में होंगी। मस्ती और ग्रैंड मस्ती की तीसरी एडल्ट कॉमेडी फिल्म है 'ग्रेट ग्रैंड मस्ती' । साजिद खान की हाउसफुल सीरीज की तीसरी फिल्म 'हाउसफुल ३' जून में रिलीज़ होगी।
उपरोक्त फिल्मों के अलावा ह्रितिक रोशन और आशुतोष गोवारिकर की जोड़ी 'मोहन जोदड़ो' लेकर आ रही है। सिंधु सभ्यता पर यह फिल्म १२ अगस्त को रिलीज़ हो सकती है। अजय देवगन 'शिवाय' फिल्म के एक्टर- डायरेक्टर होंगे। इस फिल्म से दिलीप कुमार की नातिन सयेशा सैगल का फिल्म डेब्यू हो रहा है। रणबीर कपूर और कैटरीना कैफ की फिल्म 'जग्गा जासूस' और टाइगर श्रॉफ की रेमो डीसूजा निर्देशित फिल्म 'फ्लाइंग जट्ट' सुपर पावर रखने वाले चरित्रों की कहानियाँ हैं।
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फिल्म पुराण
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
हॉलीवुड २०१६ : छाये रहेंगे कॉमिक्स के सुपर हीरो
पिछले कुछ सालों से हॉलीवुड की आईमैक्स तकनीक से बनी फिल्मों को मिली ज़बरदस्त सफलता का असर यह हुआ है कि हॉलीवुड में आईमैक्स तकनीक से बनाई जा रही फिल्मों की संख्या बढ़ती जा रही है। इसके साथ ही दुनिया के तमाम देशों में आईमैक्स सिनेमाघरों की संख्या भी बढ़ रही है। इस साल रिलीज़ होने जा रही तमाम बड़ी फ़िल्में आईमैक्स तकनीक पर बनाई गई हैं। २०१६ में रिलीज़ होने वाली आईमैक्स फिल्मों में द फाइनेस्ट ऑवरस, डेडपूल, क्राउचिंग टाइगर हिडन ड्रैगन: सोर्ड ऑफ़ डेस्टिनी, द डिवेर्जेंट सीरीज : अलेजन्ट, बैटमैन वर्सेज सुपरमैन: डान ऑफ़ जस्टिस, द जंगल बुक, कैप्टेन अमेरिका: सिविल वॉर, एलिस थ्रू द लुकिंग ग्लास, वॉरक्राफ्ट, फाइंडिंग डॉरय, इंडिपेंडेंस डे: रेसर्जेन्स, द लीजेंड ऑफ़ टार्ज़न, नाइटस ऑफ़ द राउंडटेबल: किंग आर्थर, स्टार ट्रेक बियॉन्ड, सुसाइड स्क्वॉड, डीपवाटर होराइजन, इन्फर्नो, डॉक्टर स्ट्रेंज, फैंटास्टिक बीस्ट्स एंड व्हेर तो फाइंड देम और रोग वन: अ स्टार वार्स स्टोरी के नाम उल्लेखनीय हैं।
सुपर हीरो फ़िल्में भी
हॉलीवुड मे सुपर हीरो फिल्मों की भरमार होने जा रही है। बताते हैं कि मार्वल स्टूडियोज और वार्नर ब्रदर्स के पास कॉमिक्स के सुपर हीरो करैक्टरस पर कहानियों का ज़खीरा है। यह दोनों स्टूडियोज २०२० तक सुपर हीरो फ़िल्में बनाने लायक कहानी रखते हैं। २०१६ में रिलीज़ होने वाली सुपर हीरो फिल्मों में एक्स- मेन फिल्मों के करैक्टर डेडपूल पर फिल्म 'डेडपूल', बैटमैन और सुपरमैन के टकराव को दिखाने वाली फिल्म 'बैटमैन वर्सेज सुपरमैन : डॉन ऑफ़ जस्टिस, कैप्टेन अमेरिका पर 'कैप्टेन अमेरिका: सिविल वॉर' , 'टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस: आउट ऑफ़ द शैडोज', एक्स-मेन ट्राइलॉजी की दूसरी फिल्म 'गैम्बिट' तथा मार्वल कॉमिक्स के एक अन्य करैक्टर 'गैम्बिट' पर इसी टाइटल के साथ फिल्म 'गैम्बिट' के नाम शामिल हैं।
सीक्वल फिल्मो का साल !
हॉलीवुड के लिहाज़ से २०१६ को सीक्वल फिल्मों का साल कहा जा रहा है। इस साल सुपर हीरोज फिल्मों के सीक्वल बनेंगे ही, हॉरर फिल्मों के सीक्वल भी देखने को मिलेंगे और डकैती का रोमांच भी। कैप्टेन अमेरिका सीरीज की तीसरी फिल्म 'सिविल वॉर' अगले साल की गर्मियों में ६ मई को रिलीज़ होगी। इस फिल्म में कैप्टेन अमेरिका और आयरन मैन अन्य सुपर हीरोज के साथ दो फाँट नज़र आएंगे। बैटमैन वर्सेज सुपरमैन : डॉन ऑफ़ जस्टिस इस लिहाज़ से सीक्वल फिल्म है कि इसमे बैटमैन और सुपरमैन अपने किरदारों के साथ एक दूसरे का मुक़ाबला कर रहे हैं। यह फिल्म २५ मार्च को रिलीज़ होगी। पिक्सर की फिल्म फाइंडिंग डोरी एक ३डी कंप्यूटर-एनिमेटेड कॉमेडी एडवेंचर फिल्म है। यह फिल्म २००३ की हिट फिल्म फाइंडिंग निमो की सीक्वल फिल्म है। यह फिल्म १७ जून को रिलीज़ होगी। एक्स-मेन सीरीज की नवी फिल्म 'अपोकलीप्स' २७ मई को रिलीज़ होगी। अमेरिकी-चाइनीज एक्शन कॉमेडी एनीमेशन सीरीज की तीसरी फिल्म है कुंग फु पांडा ३' । यह फिल्म २९ जनवरी को रिलीज़ होगी। १० जून को २०१३ की डकैती फिल्म नाउ यू सी मी की सीक्वल नाउ यू सी मी २ रिलीज़ होगी। १९९६ की डिजास्टर फिल्म 'इंडिपेंडेंस डे' का २० साल बाद सीक्वल 'इंडिपेंडेंस डे: रेसर्जेन्स'
२४ जून २०१६ को रिलीज़ होगा। इसी प्रकार से डिवर्जेंट सीरीज की तीसरी फिल्म 'अलेजन्ट' १० मार्च को,
अलेजियंट', एक्स-मेन सीरीज की 'डेडपूल' १२ फरवरी को, २०१३ की कांजरिंग सीरीज की फिल्म 'द कांजरिंग २' जून में ही १० तारीख को, जॉन विक (२०१४) की सीक्वल फिल्म 'जॉन विक २' , ऐलिस इन वंडरलैंड की सीक्वल फिल्म 'एलिस थ्रू द लुकिंग ग्लास', टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस २', आदि फ़िल्में रिलीज़ होंगी।
इसमे कोई शक नहीं कि हॉलीवुड फिल्मों का शौक़ीन दर्शक २०१६ की गर्मियों का इंतज़ार कर रहा है। लेकिन, गर्मियों से पहले ही उसके मनोरंजन के लिए 'राइड अलोंग २' , 'द फिफ्थ वेव', 'जेन गॉट अ गन', 'द फाइनेस्ट ऑवरस' , 'कुंग फु पांडा ३', 'डेडपूल', 'जूलैंडर २', 'द अदर साइड ऑफ़ द डोर', 'लंदन हेज फालेन' 'ज़ूटोपिआ', 'द ब्रदर्स ग्रिम्सबी', 'अलेजेंट', आदि फ़िल्में मनोरंजन के लिए हाजिर होंगी। यह फ़िल्में विषय वस्तु और तकनीकी उत्कृष्टता के कारण दुनिया के दर्शकों को आकर्षित कर पाएंगी।
सुपर हीरो फ़िल्में भी
हॉलीवुड मे सुपर हीरो फिल्मों की भरमार होने जा रही है। बताते हैं कि मार्वल स्टूडियोज और वार्नर ब्रदर्स के पास कॉमिक्स के सुपर हीरो करैक्टरस पर कहानियों का ज़खीरा है। यह दोनों स्टूडियोज २०२० तक सुपर हीरो फ़िल्में बनाने लायक कहानी रखते हैं। २०१६ में रिलीज़ होने वाली सुपर हीरो फिल्मों में एक्स- मेन फिल्मों के करैक्टर डेडपूल पर फिल्म 'डेडपूल', बैटमैन और सुपरमैन के टकराव को दिखाने वाली फिल्म 'बैटमैन वर्सेज सुपरमैन : डॉन ऑफ़ जस्टिस, कैप्टेन अमेरिका पर 'कैप्टेन अमेरिका: सिविल वॉर' , 'टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस: आउट ऑफ़ द शैडोज', एक्स-मेन ट्राइलॉजी की दूसरी फिल्म 'गैम्बिट' तथा मार्वल कॉमिक्स के एक अन्य करैक्टर 'गैम्बिट' पर इसी टाइटल के साथ फिल्म 'गैम्बिट' के नाम शामिल हैं।
सीक्वल फिल्मो का साल !
हॉलीवुड के लिहाज़ से २०१६ को सीक्वल फिल्मों का साल कहा जा रहा है। इस साल सुपर हीरोज फिल्मों के सीक्वल बनेंगे ही, हॉरर फिल्मों के सीक्वल भी देखने को मिलेंगे और डकैती का रोमांच भी। कैप्टेन अमेरिका सीरीज की तीसरी फिल्म 'सिविल वॉर' अगले साल की गर्मियों में ६ मई को रिलीज़ होगी। इस फिल्म में कैप्टेन अमेरिका और आयरन मैन अन्य सुपर हीरोज के साथ दो फाँट नज़र आएंगे। बैटमैन वर्सेज सुपरमैन : डॉन ऑफ़ जस्टिस इस लिहाज़ से सीक्वल फिल्म है कि इसमे बैटमैन और सुपरमैन अपने किरदारों के साथ एक दूसरे का मुक़ाबला कर रहे हैं। यह फिल्म २५ मार्च को रिलीज़ होगी। पिक्सर की फिल्म फाइंडिंग डोरी एक ३डी कंप्यूटर-एनिमेटेड कॉमेडी एडवेंचर फिल्म है। यह फिल्म २००३ की हिट फिल्म फाइंडिंग निमो की सीक्वल फिल्म है। यह फिल्म १७ जून को रिलीज़ होगी। एक्स-मेन सीरीज की नवी फिल्म 'अपोकलीप्स' २७ मई को रिलीज़ होगी। अमेरिकी-चाइनीज एक्शन कॉमेडी एनीमेशन सीरीज की तीसरी फिल्म है कुंग फु पांडा ३' । यह फिल्म २९ जनवरी को रिलीज़ होगी। १० जून को २०१३ की डकैती फिल्म नाउ यू सी मी की सीक्वल नाउ यू सी मी २ रिलीज़ होगी। १९९६ की डिजास्टर फिल्म 'इंडिपेंडेंस डे' का २० साल बाद सीक्वल 'इंडिपेंडेंस डे: रेसर्जेन्स'
२४ जून २०१६ को रिलीज़ होगा। इसी प्रकार से डिवर्जेंट सीरीज की तीसरी फिल्म 'अलेजन्ट' १० मार्च को,
अलेजियंट', एक्स-मेन सीरीज की 'डेडपूल' १२ फरवरी को, २०१३ की कांजरिंग सीरीज की फिल्म 'द कांजरिंग २' जून में ही १० तारीख को, जॉन विक (२०१४) की सीक्वल फिल्म 'जॉन विक २' , ऐलिस इन वंडरलैंड की सीक्वल फिल्म 'एलिस थ्रू द लुकिंग ग्लास', टीनएज म्युटेंट निंजा टर्टलस २', आदि फ़िल्में रिलीज़ होंगी।
इसमे कोई शक नहीं कि हॉलीवुड फिल्मों का शौक़ीन दर्शक २०१६ की गर्मियों का इंतज़ार कर रहा है। लेकिन, गर्मियों से पहले ही उसके मनोरंजन के लिए 'राइड अलोंग २' , 'द फिफ्थ वेव', 'जेन गॉट अ गन', 'द फाइनेस्ट ऑवरस' , 'कुंग फु पांडा ३', 'डेडपूल', 'जूलैंडर २', 'द अदर साइड ऑफ़ द डोर', 'लंदन हेज फालेन' 'ज़ूटोपिआ', 'द ब्रदर्स ग्रिम्सबी', 'अलेजेंट', आदि फ़िल्में मनोरंजन के लिए हाजिर होंगी। यह फ़िल्में विषय वस्तु और तकनीकी उत्कृष्टता के कारण दुनिया के दर्शकों को आकर्षित कर पाएंगी।
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मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
द फिफ्थ वेव
लगातार बड़े होते खतरना एलियन के चार तरंगी आक्रमण से पृथ्वी का काफी हिस्सा बिलकुल ख़त्म हो चुका है। पूरी दुनिया भय और अनिष्ट की आशंका से त्रस्त हो चली है। ऐसे भय और अविश्वास के माहौल में कसिए सुलिवान अपने छोटे भाई सैमी को किसी तरह से बचाने के लिए भाग दौड़ कर रही है। वह एलियन की पांचवी तरंग की तयारी कर रही है कि छोटा भाई समय अपने एक युवा साथी इवान के साथ आ जाता है , कसिए की मदद को। इस विज्ञानं फंतासी थ्रिलर फिल्म का निर्देशन जे ब्लैक्सोन कर रहे हैं। कसिए की भूमिका में अभिनेत्री च्लोए ग्रेस मोरेट्ज़ हैं। सैमी का किरदार ज़ैकरी आर्थर और अलेक्स रोए ईवान का किरदार कर रहे हैं। यह फिल्म २२ जनवरी को सोनी और कोलंबिया पिक्चर्स द्वारा रिलीज़ की जा रही है।
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जॉन फवरेअउ के शेफ चुनौती होगा सैफ के लिए
अबुंडाटिया एंटरटेनमेंट, एरोस इंटरनेशनल और अलुम्ब्रा एंटरटेनमेंट की को-प्रोडक्शन फिल्म में बॉलीवुड एक्टर सैफ अली खान एक शेफ यानि रसोइये का किरदार कर रहे हैं। यह फिल्म २०१४ की हॉलीवुड की एडवेंचर कॉमेडी ड्रामा फिल्म 'शेफ' का रीमेक है। इस फिल्म में शेफ का किरदार करने वाले जॉन फवरेअउ ही फिल्म के निर्माता, लेखक और निर्देशक थे। फवरेअउ बहुमुखी प्रतिभा के धनी हैं। जथुरा अ स्पेस एडवेंचर, आयरन मैन और आयरन मैन २ के निर्देशक जॉन ही थे। शेफ में उन्होंने एक बड़े रेस्टोरेंट के शेफ कैस्पेर का किरदार किया था। वह अपने काम से समझौता नहीं करता है। इसलिए उसे उस प्रतिष्ठित रेस्टोरेंट की नौकरी छोड़नी पड़ती है। तब वह अपने दोस्त और बेटे के साथ फ़ूड ट्रक खोलता है और निकल पड़ता है लोगों को अपने भोजन का स्वाद चखाने। इस फिल्म में जॉन का सपोर्ट रोबर्ट डाउनी जूनियर, सोफ़िया वेरगारा, जॉन लेगुइज़मो, स्कारलेट जोहानसन और डस्टिन हॉफमैन जैसे बड़े सितारे कर रहे थे। 'शेफ' को सराहना भी मिली थी और बॉक्स ऑफिस पर सफलता भी। सैफ अली खान के लिए जॉन फवरेअउ का कैस्पेर का किरदार किसी चुनौती से कम नहीं होगा। हालाँकि, सैफ को अपना किरदार निभाने के लिए किन्ही दूसरे लेखकों और निर्देशक का साथ मिलेगा। अब देखने वाली बात होगी कि वह अपने शेफ को जॉन फवरेअउ के शेफ के कितने नज़दीक ले जा पाते हैं।
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Saturday, 26 December 2015
एक जनवरी को रिलीज़ होगी 'किलिंग वीरप्पन'
यह है रामगोपाल वर्मा की फिल्म 'किलिंग वीरप्पन' का ट्रेलर। कुख्यात चन्दन तस्कर वीरप्पन कभी तीन राज्यों कर्णाटक, तमिलनाडु और केरल की पुलिस का सिरदर्द था। इस डाकू का इन तीनों राज्यों के छह हजार किलोमीटर वन क्षेत्र में एकछत्र राज्य था। इसने ९०० हाथियों को मार डाला था। इसके हाथों ९७ पुलिसवालों सहित १८४ लोग मारे गए थे। रामगोपाल वर्मा अपनी फिल्म के ज़रिये बताते हैं कि जहाँ अमेरिका को ओसामा बिन लादेन को मारने में १० साल लग गए, वही भारतीय पुलिस को वीरप्पन को मार गिराने में बीस साल लग गए। फिल्म में वीरप्पन का किरदार नेशनल स्कूल ऑफ़ ड्रामा के छात्र संदीप भारद्वाज कर रहे हैं। संदीप को वीरप्पन का रोल शक्लसूरत में एकरूपता के कारण मिला। इस फिल्म की शूटिंग कन्नड़ में की जा रही है। लेकिन, इस फिल्म को हिंदी, तमिल और तेलुगु में डब कर रिलीज़ किया जायेगा। फिल्म १ जनवरी २०१६ को रिलीज़ होगी। इस फिल्म के ट्रेलर की अमिताभ बच्चन ने भी प्रशंसा की है।
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ट्रेलर
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
दर्शकों से कुछ कहेंगी इनकी फ़िल्में !
नया साल शुरू होते ही बॉलीवुड फिल्म दर्शकों की निगाहें नए चेहरों पर लगी होंगी। २०१५ में स्थापित अभिनेता अभिनेत्रियाँ दर्शकों को ख़ास प्रभावित नहीं कर सके हैं। बासी कढी का उबाल अब बैठने को है। ऐसे में नए चेहरों की पड़ताल करना ज़रूरी हो जाता है। ऐसे कौन से चहरे होने जो बॉलीवुड में अपनी मौजूदगी दर्ज करा पाएंगे। आइये जानते हैं इनके बारे में-
ओनिर की शब अर्पिता पाल
ओनिर की शब अर्पिता पाल
ओनिर की आगामी रोमांस ड्रामा फिल्म शब में बांगला सुपरस्टार प्रसनजीत की पत्नी अर्पिता पाल फीमेल लीड होगी। इस फिल्म में अर्पिता के अलावा अभिनेत्री रवीना टंडन मुख्य भूमिका में हैं । दिलचस्प बात है ओनिर प्रसनजीत को पटकथा सुनाने उनके घर कोलकाता गए थे , तब उनकी नजर प्रसनजीत की वाइफ अर्पिता पर गयी। वह उनसे बहुत प्रभावित हुए। ओनिर ने जब फिल्म 'शब पर काम शुरू किया, तब उन्हें फिल्म में सोशलिस्ट के किरदार के लिए अर्पिता फिट लगीं। ओनिर ने अर्पिता को फिल्म की कहानी सुनाई, जो उन्हें बहुत पसंद आई। पर एक समस्या थी। किरदार के लिए उन्हें बाल कट करने थे और बॉय कट रखना था। जबकि अर्पिता के बाल काफी लम्बे थे। ओनिर फिल्म को रियल रखना चाहते थे, इसलिए विग का इस्तेमाल नहीं करना चाहते थे। इसलिए, ओनिर ने अर्पिता को इसके लिए मनाया और फिल्म शब में कास्ट किया। ओनिर कहते है " जब मैंने अर्पिता देखा तो उनके सेंसुअस और अच्छे लुक को देख प्रभावित हो गया। मुझे लगा कि वह इस रोल के लिए फिट है। मैं खुश हूँ कि वह फिल्म शब का हिस्सा है।"
अनिल कपूर का बेटा और उसकी मिर्ज़या
राकेश ओमप्रकाश मेहरा इस साल दो नए चेहरों के साथ आने वाले हैं। मेहरा की फिल्म 'मिर्ज़या' मिर्ज़ा ग़ालिब और साहिबान के इश्क़ पर आधुनिक रोमांस कहानी है। फिल्म की पृष्ठभूमि राजस्थान की है। इस फिल्म की रोमांटिक जोड़ी नया चेहरा नासिक की सैयमी खेर और अनिल कपूर का बेटा हर्षवर्द्धन की है। सैयमी नासिक से हैं, लेकिन मुंबई से उनका गहरा रिश्ता है। उन्होंने ग्रेजुएशन सेंट ज़ेवियर कॉलेज, मुंबई से किया है। उनकी माँ उत्तरा मिस इंडिया और किंगफ़िशर कैलेंडर गर्ल रह चुकी हैं। सैयमी पुराने ज़माने की अभिनेत्री उषा किरण की पोती हैं। तन्वी आज़मी उनकी मौसी हैं। तन्वी और शबाना आज़मी ने उनके करियर को संवारने में मदद की है। वह कई उत्पादों की मॉडल रही हैं। फिल्म में उनके मिर्ज़ा अनिल कपूर के बेटे और सोनम कपूर के भाई हर्षवर्द्धन हैं। हर्षवर्द्धन कपूर २३ साल के हैं। वह बॉम्बे वेल्वेट में अनुराग कश्यप के सहायक निर्देशक थे। कृष्णा और रूही का इश्क़ फॉरएवर
निर्देशक समीर सिप्पी की फिल्म 'इश्क़ फॉरएवर' की चर्चा संगीतकार नदीम सैफी और एक्ट्रेस लिसा रे की हिंदी फिल्मों में वापसी के कारण हो रही है। हालाँकि, इस फिल्म के लिए नदीम और लिसा का महत्व है। लेकिन, भूलना नहीं चाहिए कि इस रोमांटिक कॉमेडी फिल्म की कृष्णा चतुर्वेदी और रूही सिंह की रोमांटिक जोड़ी पर ही फिल्म का दारोमदार है। रूही सिंह २०११ की मिस इंडिया प्रतियोगिता की प्रतिभागी है। राजस्थान की रूही की पहली फिल्म मधुर भंडारकर की २०१५ में रिलीज़ 'कैलेंडर गर्ल्स' थी। कैलेंडर गर्ल्स में रूही ने रोहतक की मयुरी चौहान का रोल दिया था। इश्क़ फॉरएवर में रूही सिंह के रोमांटिक जोड़ीदार कृष्णा चतुर्वेदी फैशन मॉडल है। वह एक फिल्म कर्नर टेबल में अभिनय भी कर चुके हैं।
‘लातूर’ के गोविंदराव
रितेश
देशमुख के बाद अब एक और मराठी एक्टर गोविंदराव हिंदी फिल्मों में डेब्यू करने जा
रहे हैं । गोविंदराव किसान परिवार से हैं. उनकी अभिनय में रूचि थी । इस लिहाज़ से
उनका निर्देशक राजेश पटोले की हिंदी फिल्म ‘स्लमडॉग करोडपति’ का नायक चुना जाना बड़ी बात है। इस फिल्म
में गोविंदराव का ‘मुनिसिपल्टी’
का रोल एक्शन से
भरा इंटरेस्टिंग है । गोविंदराव को एक्टिंग का पहला मौका २००८ में तेलुगु फिल्म ‘द फोर्ट’ की नेगेटिव भूमिका से मिला । इसके बाद
उन्होंने कुछ लघु फ़िल्में और टीवी के विज्ञापन किये । उनके दो अन्य प्रोजेक्ट
पोस्ट-प्रोडक्शन की स्टेज पर हैं । स्लमडॉग करोडपति मिलने की कहानी बताते हुए
गोविन्दराव कहते हैं, “जब मुझे मालूम हुआ कि निर्माता अरुण राज को एक फ्रेश चेहरे की ज़रुरत है तो
मैंने ऑडिशन दिया और मैं इस सीधे सादे लडके की भूमिका के लिए चुन लिया गया,
जो मुंबई के
स्लम में रहता है।“
आनंद एल राय की फिल्म में विक्की कौशल
निर्माता निर्देशक
आनंद एल राय के होम प्रोडक्शन कलर यलो प्रोडक्सन्स के बैनर
तले हाल ही में एक फिल्म का ऐलान हुआ है। इस फिल्म के निर्देशक समीर शर्मा हैं । आनंद राय ने फिल्म दम लगा के हैशा की जोड़ी
आयुष्मान खुराना और भूमी पेडणेकर को लीड में लिया है। सूत्रों की माने तो आनंद एल
राय ने उनके इस फिल्म के लिए मसान फेम एक्टर विक्की कौशल को सेकंड लीड में लिया है। यह वही विक्की कौशल हैं, जिन्हें फिल्म मसान के लिए वाह-वाही मिल रही है। उनकी "ज़ुबान" नाम की एक अन्य फिल्म भी आ रही है।
बेचारे बीवी के मारे विक्रांत यादव
निर्देशक सोम वत्स की फिल्म 'बेचारे बीवी के मारे' फिल्म है छः पतियों की, जो अपनी बीवियों के सताए हुए हैं। ऐसे सताए हुए छः पतियों में से एक पति विक्रांत यादव भी है। वह थिएटर आर्टिस्ट हैं। उन्होंने पद्मिनी कोल्हापुरे के अभिनय स्कूल ऑफ़ एक्टिंग से अभिनय का प्रशिक्षण लिया है। बेचारे बीवी के मारे उनकी डेब्यू फिल्म है।
लव शुदा गिरीश कुमार और नवनीत ढिल्लों
टिप्स की फिल्म 'लवशुदा' अभिनेता गिरीश कुमार की दूसरी फिल्म है। टिप्स के कुमार तौरानी के बेटे गिरीश की यह दूसरी फिल्म है। पहली फिल्म 'रमैया वस्तावैया' में श्रुति हासन के साथ उन्होंने दर्शकों को आकर्षित क्या था। अब दूसरी फिल्म से वह एक बार फिर बॉलीवुड में अपने पैर जमाने की कोशिश करेंगे। लवशुदा में उनका साथ मिस वर्ल्ड २०१३ की प्रतिभागी नवनीत ढिल्लों दे रही हैं। पटियाला पंजाब की नवनीत की यह पहली फिल्म है। रोमांटिक लवशुदा से इस रोमांटिक जोड़े का भविष्य जुड़ा हुआ है।
टिप्स की फिल्म 'लवशुदा' अभिनेता गिरीश कुमार की दूसरी फिल्म है। टिप्स के कुमार तौरानी के बेटे गिरीश की यह दूसरी फिल्म है। पहली फिल्म 'रमैया वस्तावैया' में श्रुति हासन के साथ उन्होंने दर्शकों को आकर्षित क्या था। अब दूसरी फिल्म से वह एक बार फिर बॉलीवुड में अपने पैर जमाने की कोशिश करेंगे। लवशुदा में उनका साथ मिस वर्ल्ड २०१३ की प्रतिभागी नवनीत ढिल्लों दे रही हैं। पटियाला पंजाब की नवनीत की यह पहली फिल्म है। रोमांटिक लवशुदा से इस रोमांटिक जोड़े का भविष्य जुड़ा हुआ है।
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Friday, 25 December 2015
क्रिसमस वीकेंड पर चार फिल्मों से घिरी स्टार वार्स
हिन्दुस्तानी बॉक्स ऑफिस पर स्टार वार्स सीरीज का एपिसोड ७ बॉलीवुड की दो फिल्मों 'दिलवाले' और 'बाजीराव मस्तानी' को कड़ी चुनौती दे रही हैं। वही, इस फिल्म को अपने घरेलु बाज़ार में चार फिल्मों से चुनौती मिलने जा रही है। पूरे एक हफ्ते तक बॉक्स ऑफिस के तमाम रिकॉर्ड तोड़ने के बाद स्टार वार्स ७ को थोडा ठिठकना होगा। द फाॅर्स अवकेंस कलेक्शन के मामले में अवतार से ही थोडा पीछे है। लेकिन, काफी कुछ निर्भर करेगा दूसरे वीकेंड पर। चूंकि, यह कमाई वाला क्रिसमस वीकेंड है, इसलिए हॉलीवुड की चार फ़िल्में बड़ी रिलीज़ के साथ स्टार वार्स एपिसोड ७ को पीछे धकेलने के लिए आमादा है। यह फिल्म २८०० से अधिक प्रिंट्स में रिलीज़ हो रही हैं। सीन एंडर्स की कॉमेडी फिल्म 'डैडीज होम' सबसे ज्यादा ३,२७१ स्क्रीन पर रिलीज़ हो रही है। इस फिल्म में विल फरेल, मार्क वह्ल्बर्ग, लिंडा कार्देलिनी और थॉमस हडेन चर्च मुख्य भूमिका में हैं। विल फरेल और मार्क वह्ल्बर्ग, २०१० की एक्शन कॉमेडी 'द अदर गाइस' के बाद दूसरी बार साथ आ रहे हैं। यह फिल्म कहानी है रेडियो एग्जीक्यूटिव ब्रैड की, जो अपनी बीवी से दो सौतेले बच्चों से तालमेल बैठाने की कोशिश में है। करेले पर नीम तब चढ़ता है, जब उसकी बीवी का पहला पति चुनौती बन कर आ खड़ा होता है। इन तीनों भूमिकाओं को विल फरेल, लिंडा कार्देलिनी और मार्क वह्ल्बर्ग ने किया है। डैडी'ज होम ९६ मिनट लम्बी है। दूसरी फिल्म डेविड ओ रसेल निर्देशित जॉय २८९६ प्रिंट्स में रिलीज़ हो रही है। यह फिल्म एक बिज़नेसवुमन जॉय माँगनो की कहानी है, जो अपने बल पर अपना बिज़नेस एम्पियर मिरेकल मैप खड़ा करती है। अभिनेत्री जेनिफर लॉरेंस जॉय की भूमिका कर रहे हैं। फिल्म मे ब्रेडले कूपर, रॉबर्ट डिनिरो, वर्जिनिया माड़सेन, एडगर रामिऱेज और इसाबेला रोसेलिनी सह भूमिकाओं में हैं। यह फिल्म १२४ मिनट लम्बी है। तीसरी फिल्म निर्देशक पीटर लंडसमैन की 'ककशन' है। यह बायोग्राफिकल स्पोर्ट्स ड्रामा फिल्म २८४१ प्रिंट्स में रिलीज़ हो रही है। नेशनल फुटबॉल लीग एक फॉरेंसिक पथालॉजिस्ट बेनेट ओमालु की उस रिपोर्ट को दबाने की कोशिश कर रहा है, जिसका निष्कर्ष है कि पेशेवर फुटबॉल खिलाडियों के दिमाग को मैदान में लगी चोटों से नुक्सान पहुंचता है। बेनेट अपनी रिपोर्ट को अंजाम तक पहुंचाने के लिए संघर्ष करता है। इस १२३ मिनट लम्बी फिल्म में विल स्मिथ ने फॉरेंसिक पथालॉजिस्ट का किरदार किया है। उनके सपोर्टिंग रोल में एलेक बाल्डविन, गुगु मबाथा-रॉ और ल्यूक विल्सन हैं। इस फिल्म के प्रोडूसर रिडले स्कॉट हैं। निर्देशक एरिक्सन कोर की फिल्म 'पॉइंट ब्रेक' २९१० प्रिंट्स में रिलीज़ हो रही है। ११३ मिनट लम्बी पॉइंट ब्रेक १९९१ में इसी टाइटल के साथ रिलीज पैट्रिक स्वेज़ और कीअनु रीव्स की फिल्म का रीमेक है। एफबीआई एजेंट जॉनी उटा पेशेवर अपराधियों का पता लगाने के लिए एथलीट्स के ग्रुुप में अंडरकवर बन कर जाता है। इस फिल्म में ल्यूक ब्रेसी (जॉनी उटा),डेलरॉय लिंडो (एफबीआई इंस्ट्रक्टर), टेरेसा पामर (संसारा), एडगर रमिरेज़ (बोधि) और रे विंस्टन (एंजेलो पप्पास) के किरदार में है।
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बॉक्स ऑफिस पर
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
अब 'बाजीराव-मस्तानी' के पीछे 'दिलवाले'
निर्देशक संजय लीला भंसाली की रणवीर सिंह, दीपिका पादुकोण और प्रियंका चोपड़ा की मुख्य भूमिका वाली फिल्म 'बाजीराव मस्तानी' और निर्देशक रोहित शेट्टी की शाहरुख़ खान, काजोल, वरुण धवन और कीर्ति सेनन की मुख्य भूमिका वाली फिल्म 'दिलवाले' एक ही दिन १८ दिसंबर को रिलीज़ हुई। पहले दिन ही खान की फिल्म ने लम्बी छलांग लगी। फर्स्ट डे कलेक्शन के लिहाज़ से दिलवाले और बाजीराव मस्तानी के बीच ८ करोड़ का फर्क था। लेकिन, इसके साथ ही दिलवाले का कलेक्शन गिरना शुरू हुआ। फिल्म की रिलीज़ के सातवे दिन ७.२० करोड़ का फर्क ४ करोड़ रह गया। देखिये तुलनात्मक चार्ट -
दिन दिलवाले बाजीराव मस्तानी
शुक्रवार २० करोड़ १२.८० करोड़
शनिवार १८ करोड़ १५.५० करोड़
रविवार २१.५० करोड़ १८.४५ करोड़
सोमवार ०९ करोड़ १०.२५ करोड़
मंगलवार ०७.७५ करोड़ ०९.५० करोड़
बुद्धवार ०७.५० करोड़ ०९.२५ करोड़
गुरुवार ०६.५० करोड़ १०.५० करोड़
कुल ७ दिन ९०.२५ करोड़ ८६.२५ करोड़
दिन दिलवाले बाजीराव मस्तानी
शुक्रवार २० करोड़ १२.८० करोड़
शनिवार १८ करोड़ १५.५० करोड़
रविवार २१.५० करोड़ १८.४५ करोड़
सोमवार ०९ करोड़ १०.२५ करोड़
मंगलवार ०७.७५ करोड़ ०९.५० करोड़
बुद्धवार ०७.५० करोड़ ०९.२५ करोड़
गुरुवार ०६.५० करोड़ १०.५० करोड़
कुल ७ दिन ९०.२५ करोड़ ८६.२५ करोड़
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मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
रहस्यमय सौंदर्य की साधना !
यह वाक़या १९६० का है। निर्माता शशधर मुख़र्जी की फिल्म 'लव इन शिमला' रिलीज़ हुई थी। इस फिल्म से दो नए चेहरे लांच हो रहे थे। फिल्म के हीरो जॉय मुख़र्जी, शशधर मुख़र्जी के बेटे थे। फिल्म की नायिका साधना एक छोटे एक्टर हरी शिवदासानी की भतीजी थीं। फिल्म के निर्देशक आर के नय्यर की भी यह पहली फिल्म थी। यह फिल्म कहानी थी एक मोटा चश्मा पहनने वाली अनाथ लड़की की। उस बदसूरत लड़की को कोई प्यार नहीं करता था । तब उसकी दादी उसे खूबसूरत बनाती है। इस फिल्म से अविभाजित भारत के सिंध प्रान्त में २ सितम्बर १९४१ को एक सिंधी परिवार में पैदा अभिनेत्री का आगमन हुआ था। अपनी पहली ही फिल्म से साधना ने बॉलीवुड में तहलका मचा दिया था। आर के नय्यर ने उन्हें ऑड्रे हेपबर्न की तर्ज़ पर बालों को सेट किया था। हिंदुस्तान में यह सेटिंग 'साधना कट' बाल के नाम से मशहूर हुए। साधना रातों रात स्टार बन गयीं। लव इन शिमला श्वेत श्याम फिल्म थी। १९६१ में रिलीज़ शम्मी कपूर और सायरा बानो की फिल्म जंगली ने हिंदी फिल्मों में रंग स्थाई कर दिए। जंगली के निर्माता और निर्देशक शशधर मुख़र्जी के भाई सुबोध मुख़र्जी थे। लेकिन, साधना ने लव इन शिमला के बाद रिलीज़ श्वेत श्याम
फिल्मों हम दोनों, प्रेम पत्र, मनमौजी, एक मुसाफिर एक हसीना और असली नक़ली से अपने हुस्न का वह
जलवा बिखेरा कि यह शोख हीरोइन दर्शकों के दिलों में समां गयी। साधना की पहली रंगीन फिल्म एच एस रवैल की 'मेरे मेहबूब' ने तो साधना की शोखियों को गहरा कर दिया था। इसके बाद साधना ने राजकुमार, वक़्त, आरज़ू, मेरा साया, अनीता, सच्चाई, इन्तेक़ाम, एक फूल दो माली, आप आये बहार आयी, आदि फिल्मों से जुबलियों की भरमार कर दी। साधना के सन्दर्भ में दिलचस्प तथ्य यह था कि सुपर हिट फिल्म जंगली से अपने करियर की हिट शुरुआत करने वाली सायरा बानो की अगली फिल्म शादी श्वेत श्याम थी। शादी बॉक्स ऑफिस पर बुरी तरह से असफल हुई। अपनी इस असफलता से सायरा बानो कुछ इतना हड़बड़ाई कि उन्होंने फिर कभी कोई श्वेत श्याम फिल्म न करने की कसम खा ली। लेकिन, दूसरी ओर, जब साधना एक के बाद एक रंगीन हिट फ़िल्में दे रही थीं, उनकी एक बाद एक तीन फ़िल्में वह कौन थी, पिकनिक और दूल्हा दुल्हन श्वेत श्याम में रिलीज़ हुई। वह कौन थी एक बड़ी सफल फिल्म थी।
साधना, जितनी सुन्दर थीं, उनका चेहरा उतना ही रहस्यमय भी था। इसीलिए, साधना वह कौन थी, अनीता, मेरा साया, आदि रहस्य फिल्मों को सफल बनाने में कामयाब हो पायीं। साधना के सफलता के दौर में आशा पारेख और सायरा बानो की फ़िल्में भी हिट हो रही थीं। लेकिन, साधना ने जो मुक़ाम बनाया, उससे उन्हें कोई अभिनेत्री हटा नहीं पायीं। उनकी दर्शकों पर पकड़ का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि उन्होंने १९६६ में अपनी पहली फिल्म के डायरेक्टर आर के नय्यर से शादी कर ली थी, इसके बावजूद उनकी शादी के बाद रिलीज़ अनीता, एक फूल दो माली, इन्तेक़ाम और आप आये बहार आई जैसी फ़िल्में सुपर हिट हुई। उन्हें १९६३ से १९६७ के दौरान सबसे ज़्यादा पारिश्रमिक पाने वाली टॉप की अभिनेत्री वैजयंतीमाला के बराबर पारिश्रमिक मिला करता था। १९६१-६२ में उन्हें नंदा के बराबर दूसरा सबसे ज़्यादा पारिश्रमिक मिलता था। १९६९ से १९७३ तक वह पारिश्रमिक के लिहाज़ से तीसरे नंबर की अभिनेत्री थीं। साधना को फैशन आइकॉन कहना ठीक होगा। वह एक ऐसी अभिनेत्री थी, जिसने साधना कट बालों का फैशन चलाने के बाद फिल्म वक़्त में चूड़ीदार और कुरता पहन कर युवा लड़कियों में इसका क्रेज पैदा कर दिया।
साधना ने १९७४ में फिल्मों में अभिनय बंद कर दिया था। उनकी एक रुकी हुई फिल्म 'उल्फत की नयी मंज़िलें' २० साल बाद १९९४ में रिलीज़ हुई थी। चूंकि,इस फिल्म में साधना का काम पूरा नहीं हुआ था, इसलिए एक बॉडी डबल की मदद से फिल्म पूरी करवाई गयी। साधना की एक अन्य फिल्म गुरु दत्त के साथ पिकनिक गुरु दत्त की मृत्यु की वजह से अधूरी रह गयी। राज खोसला के निर्देशन में देव आनंद के साथ साधना की फिल्म 'साजन की गलियां' भी अधूरी रह गयी।
साधना ने अपने समय के सभी बड़े अभिनेताओं के साथ फ़िल्में की। सभी कपूर भाइयों की नायिका बनी। शशि कपूर के साथ प्रेम पत्र करने के बाद साधना ने शम्मी कपूर के साथ राजकुमार और राजकपूर के साथ दूल्हा दुल्हन में काम किया था। वह एक फूल दो माली और इन्तेक़ाम में संजय खान की नायिका बनी तो गीता मेरा नाम में संजय खान के भाई फ़िरोज़ खान उनके हीरो थे।
साधना ने हिंदी फिल्म 'लव इन शिमला' से पहले एक सिंधी फिल्म 'अबाना' में सेकंड लीड की थी। इस फिल्म में वह शीला रामानी की बहन की भूमिका में थीं। शीला रामानी उस समय की बड़ी एक्ट्रेस में शुमार की जाती थीं। इसलिए साधना ने उनसे ऑटोग्राफ की मांग की। तब, साधना के लिए ऑटोग्राफ साइन करते समय शीला रामानी ने कहा, "एक दिन मैं तुमसे तुम्हारा ऑटोग्राफ मांगूंगी।" इसमे कोई शक नहीं कि शीला रामानी ने भविष्य की स्टार को पहचान लिया था।
कोई दो दशक तक हिंदी फिल्म दर्शकों के दिलों में एकछत्र राज करने वाली शोख हसीना साधना का लम्बे समय से कैंसर की बीमारी से जूझने के बाद आज (२५ दिसंबर को) निधन हो गया। उन्हें श्रद्धांजलि।
फिल्मों हम दोनों, प्रेम पत्र, मनमौजी, एक मुसाफिर एक हसीना और असली नक़ली से अपने हुस्न का वह
जलवा बिखेरा कि यह शोख हीरोइन दर्शकों के दिलों में समां गयी। साधना की पहली रंगीन फिल्म एच एस रवैल की 'मेरे मेहबूब' ने तो साधना की शोखियों को गहरा कर दिया था। इसके बाद साधना ने राजकुमार, वक़्त, आरज़ू, मेरा साया, अनीता, सच्चाई, इन्तेक़ाम, एक फूल दो माली, आप आये बहार आयी, आदि फिल्मों से जुबलियों की भरमार कर दी। साधना के सन्दर्भ में दिलचस्प तथ्य यह था कि सुपर हिट फिल्म जंगली से अपने करियर की हिट शुरुआत करने वाली सायरा बानो की अगली फिल्म शादी श्वेत श्याम थी। शादी बॉक्स ऑफिस पर बुरी तरह से असफल हुई। अपनी इस असफलता से सायरा बानो कुछ इतना हड़बड़ाई कि उन्होंने फिर कभी कोई श्वेत श्याम फिल्म न करने की कसम खा ली। लेकिन, दूसरी ओर, जब साधना एक के बाद एक रंगीन हिट फ़िल्में दे रही थीं, उनकी एक बाद एक तीन फ़िल्में वह कौन थी, पिकनिक और दूल्हा दुल्हन श्वेत श्याम में रिलीज़ हुई। वह कौन थी एक बड़ी सफल फिल्म थी।
साधना, जितनी सुन्दर थीं, उनका चेहरा उतना ही रहस्यमय भी था। इसीलिए, साधना वह कौन थी, अनीता, मेरा साया, आदि रहस्य फिल्मों को सफल बनाने में कामयाब हो पायीं। साधना के सफलता के दौर में आशा पारेख और सायरा बानो की फ़िल्में भी हिट हो रही थीं। लेकिन, साधना ने जो मुक़ाम बनाया, उससे उन्हें कोई अभिनेत्री हटा नहीं पायीं। उनकी दर्शकों पर पकड़ का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि उन्होंने १९६६ में अपनी पहली फिल्म के डायरेक्टर आर के नय्यर से शादी कर ली थी, इसके बावजूद उनकी शादी के बाद रिलीज़ अनीता, एक फूल दो माली, इन्तेक़ाम और आप आये बहार आई जैसी फ़िल्में सुपर हिट हुई। उन्हें १९६३ से १९६७ के दौरान सबसे ज़्यादा पारिश्रमिक पाने वाली टॉप की अभिनेत्री वैजयंतीमाला के बराबर पारिश्रमिक मिला करता था। १९६१-६२ में उन्हें नंदा के बराबर दूसरा सबसे ज़्यादा पारिश्रमिक मिलता था। १९६९ से १९७३ तक वह पारिश्रमिक के लिहाज़ से तीसरे नंबर की अभिनेत्री थीं। साधना को फैशन आइकॉन कहना ठीक होगा। वह एक ऐसी अभिनेत्री थी, जिसने साधना कट बालों का फैशन चलाने के बाद फिल्म वक़्त में चूड़ीदार और कुरता पहन कर युवा लड़कियों में इसका क्रेज पैदा कर दिया।
साधना ने १९७४ में फिल्मों में अभिनय बंद कर दिया था। उनकी एक रुकी हुई फिल्म 'उल्फत की नयी मंज़िलें' २० साल बाद १९९४ में रिलीज़ हुई थी। चूंकि,इस फिल्म में साधना का काम पूरा नहीं हुआ था, इसलिए एक बॉडी डबल की मदद से फिल्म पूरी करवाई गयी। साधना की एक अन्य फिल्म गुरु दत्त के साथ पिकनिक गुरु दत्त की मृत्यु की वजह से अधूरी रह गयी। राज खोसला के निर्देशन में देव आनंद के साथ साधना की फिल्म 'साजन की गलियां' भी अधूरी रह गयी।
साधना ने अपने समय के सभी बड़े अभिनेताओं के साथ फ़िल्में की। सभी कपूर भाइयों की नायिका बनी। शशि कपूर के साथ प्रेम पत्र करने के बाद साधना ने शम्मी कपूर के साथ राजकुमार और राजकपूर के साथ दूल्हा दुल्हन में काम किया था। वह एक फूल दो माली और इन्तेक़ाम में संजय खान की नायिका बनी तो गीता मेरा नाम में संजय खान के भाई फ़िरोज़ खान उनके हीरो थे।
साधना ने हिंदी फिल्म 'लव इन शिमला' से पहले एक सिंधी फिल्म 'अबाना' में सेकंड लीड की थी। इस फिल्म में वह शीला रामानी की बहन की भूमिका में थीं। शीला रामानी उस समय की बड़ी एक्ट्रेस में शुमार की जाती थीं। इसलिए साधना ने उनसे ऑटोग्राफ की मांग की। तब, साधना के लिए ऑटोग्राफ साइन करते समय शीला रामानी ने कहा, "एक दिन मैं तुमसे तुम्हारा ऑटोग्राफ मांगूंगी।" इसमे कोई शक नहीं कि शीला रामानी ने भविष्य की स्टार को पहचान लिया था।
कोई दो दशक तक हिंदी फिल्म दर्शकों के दिलों में एकछत्र राज करने वाली शोख हसीना साधना का लम्बे समय से कैंसर की बीमारी से जूझने के बाद आज (२५ दिसंबर को) निधन हो गया। उन्हें श्रद्धांजलि।
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