Friday, 13 July 2018

मिका सिंह की अकीरा

पंजाबी पॉप सिंगर मीका सिंह का ट्रैक साक़िया रिलीज़ होने जा रहा है।

इस ट्रैक की खासियत यह है कि वह इसके ज़रिये एक नई प्रतिभा अकीरा का परिचय कराने जा रहे हैं।

इस भारतीय अकीरा का असली नाम अश्मिता गर्ग है। वह १९ साल की है। वह ज़ी के टैलेंट हंट शो सारेगामापा की प्रतिभागी रही है।

उन्होंने, हाउसफुल ३ का गीत मालामाल और सांता बंटा प्राइवेट लिमिटेड का गीत इश्क़ करने एनी टाइम गाये हैं।

मीका सिंह इन्ही अश्मिता को अकीरा नाम देकर यह ट्रैक जारी करने जा रहे हैं।

साक़िया टाइटल वाला यह ट्रैक १६ जुलाई को जारी होगा।

इस ट्रैक के वीडियो में दलजीत कलसी और डैनिएला नज़र आएंगे।    


मलाला युसुफजई पर फिल्म गुल मकई का ट्रेलर - देखने के लिए क्लिक करें 

मलाला युसुफजई पर फिल्म गुल मकई का ट्रेलर

रणबीर कपूर को संजू टोपी पहनाने वाले सुरेंद्र-जीतेन्द्र

संजूके लिए रणबीर कपूर को हर तरफ से तारीफें मिल रही हैं। फैंस से लेकर फिल्म क्रिटिक हर कोई उनके अभिनय का मुरीद हो गया हैं। रणबीर कपूर के आठ लुक्स को सोशल मीडिया पर काफी सराहा जा रहा हैं। यह लुक्स डिजाइन करनेवाली विग मेकर जोडी हैं, सुरेंद्र सालवी-जितेंद्र सालवी की।

संजू में सिर्फ रणबीर ही नहीं बल्कि परेश रावल, सोनम कपूर, अनुष्का शर्मा, आदि सभी के किरदारों के लुक्स दो भाइयों सुरेंद्र-जितेंद्र के विग्स का कमाल हैं।

सुरेंद्र और जीतेंद्र सालवी ने कुली, खुदा गवाह, बाजीराव-मस्तानी, ३ इडियट्स, अग्निपथ, बाहूबली, पद्मावत, १०२ नॉट आउट जैसी करीब चार सौ से ज्यादा फिल्मों के लिए विग डिजाइन की हैं।  

सूत्रों के अनूसार, बॉलीवूड में पिछले ३८ सालों से काम कर रहे सुरेंद्र सालवी और १६ सालों से काम करने वाले जीतेंद्र सालवी ने बॉलीवूड की करीबन ९५ प्रतिशत फिल्मों के लिए विग डिज़ाइन की हैं। 

कुली से शुरू हुआ यह सिलसिला अब संजू तक पहूँच गया हैं। 

सुरेंद्र सालवी कहतें हैं, “मैनें आज तक काल्पनिक और ऐतिहासिक किरदारों के लिए विग डिजाइन किए हैं। लेकिन लिविंग लिजेंड संजय दत्त के लिए लूक डिजाइन करना हमारे लिए चैंलेंजिंग था। मैंने सुनील दत्त और संजय दत्त दोनों के साथ काम किया हैं। जिसकी वजह से मुझे दोनों के बालों के स्ट्रक्चर की जानकारी थी। हमनें रणबीर के लिए १५ से २० लुक्स ट्राय किए। जिसमें से आठ लूक्स राजू हिरानी ने फायनल किए। 


जीतेंद्र सालवी बतातें हैं, “एक दिन संजय दत्त खूद सेट पर आए। और उन्होंने रणबीर को देखकर कहाँ, ‘अरे मुझे पल भर के लिए लगा जैंसे मै आइना देख रहा हूं। बस, हमारे लिए यह कॉम्पलिमेन्ट किसी अवॉर्ड से कम नहीं था ।


क्या सिनेमाघरों के बाहर फिर लौटेगी रौनक ?  - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

क्या सिनेमाघरों के बाहर फिर लौटेगी रौनक ?

महाराष्ट्र सरकार ने, अपने राज्य के सभी सिनेमाघर मालिकों को आदेश दिया है कि वह सिने  दर्शकों को बाहर से स्नैक्स ले जाने दे। महाराष्ट्र सरकार के यह आदेश १ अगस्त से प्रभावी होंगे।  

इससे फिल्म दर्शक सिनेमाघरों के बाहर ठेला या खोमचा लगाए हॉकरों से सामान खरीद कर अंदर ले जा सकेंगे।

अगर ऐसा हो गया तो एक बार फिर सिनेमाघरों के बाहर रौनक लौट आएगी।

कभी सिंगल स्क्रीन थिएटरों में मेला लगा रहता था।

पहले दिन, सिनेमाघरों के बाहर सर ही सर नज़र आते थे।  जाम की स्थिति पैदा हो जाया करती थी।

ख़ास हुआ करता था किसी फिल्म के मध्य मे होने वाला इंटरवल या मध्यांतर।

इंटरवल होते ही दर्शकों का रेला हॉल से निकल कर या तो पेशाबघर या सड़क एक पार खड़े ठेलों और खोमचों पर दौड़ जाया करता था।

सिनेमाघर की इंटरवल की घंटी बजते ही सिनेमाघरों के बाहर ठंडा पानी बेचने वाले अपने शीशे के गिलास खड़काते हुए, अपनी ओर आने का इशारा किया करते थे।  गरम समोसे, लाइ-चना, भुट्टा, आदि के गर्मागर्म होने की पुकार शुरू हो जाती थी।  इन सामानों की खुशबू दूर से ही दर्शकों के  नथुनों के ज़रिेये दिमाग में पैठ जाया करती थी।

दस मिनट के इंटरवल के दौरान सिनेमाघर के बाहर गहमागहमी बढ़ जाया करती थी।

जैसे ही इंटरवल ख़त्म होने की घंटी बजती दर्शक अपना स्नैक्स दबाये सिनेमा गेट की ओर दौड़ लगा लिया करते थे।

पायरेसी, टीवी सीरियल, आदि के कारण सिनेमाघरों को बड़ा झटका लगा। सिनेमाघरों की हालत खस्ता होने लगी। उस समय तक सिनेमाघर मालिक अपने थिएटरों का दूसरा व्यावसायिक उपयोग नहीं कर सकते थे। केवल स्नैक्स और ठंडा गर्म पेय पदार्थ ही सिनेमाघरों में बिका करते थे।  लेकिन, इनकी भी बाहर खोमचा या ठेला लगाए हॉकर के सामान से कड़ी स्पर्द्धा हुआ करती थी।

ऐसे में रेवेन्यू बढ़ाने का एक ही उपाय सिनेमाघरों के मालिकों के पास था कि बाहर एक सामान अंदर न जा सके।  सिनेमाघर के अंदर बंद दर्शक महँगा स्नैक्स खरीद कर अपनी भूख मिटाये।

इस कारण से सिनेमाघरों में चैनल गेट फिल्म ख़त्म होने तक बंद किये जाने लगे। अब दर्शक इंटरवल में  सिनेमाघरों के चैनल गेट के पास तक नहीं खड़ा हो सकता था। मल्टीप्लेक्स की संस्कृति से सिंगल स्क्रीन थिएटर भी उत्साहित हुए।  सिनेमाघरों के बाहर सन्नाटा पसरा रहने लगा।

अब, १ अगस्त से महाराष्ट्र के थिएटरों के बाहर ठेले और खोमचे सज जाएंगे। पहले की तरह इंटरवल में बाहर निकले दर्शकों को आकर्षित करने के लिए गिलास खड़कने लगेंगे। गर्म समोसा भुट्टा की आवाज़ तेज़ और तेज़ होने लगेंगी। सिनेमाघर सचमुच मनोरंजन का स्थल बन जाएंगे।

महाराष्ट्र सरकार ने इसके अलावा, मल्टीप्लेक्स मालिकों से स्नैक्स के दाम बाज़ार भाव के बराबर लाने के लिए बात करनी  शुरू कर दी है।  अभी मल्टीप्लेक्स में ठन्डे पेय पदार्थ की बोतल खोल कर उसका थोड़ा थोड़ा द्रव भारी दाम पर बेचा जाता हैं।  स्नैक्स आदि भी काफी महंगे होते हैं।

बताते चलें कि महाराष्ट्र सरकार का यह आदेश, बॉम्बे हाई कोर्ट के अप्रैल में दिए गए उस फैसले के बाद आया है, जिसमे हाई कोर्ट ने साफ़ कर दिया कि मल्टीप्लेक्स दर्शकों को अपने सिनेमाघर के अंदर बाहर का सामान जाने से नहीं रोक सकते।  



अक्षय कुमार और रितेश देशमुख के साथ बॉबी देओल का हाउसफुल - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

अक्षय कुमार और रितेश देशमुख के साथ बॉबी देओल का हाउसफुल

आठ साल पहले शुरू की गई हाउसफुल फ्रैंचाइज़ी की तीन फ़िल्में रिलीज़ हो चुकी है। यह तीनों ही फ़िल्में सफल रही हैं।

अब इस सीरीज की चौथी फिल्म हाउसफुल ४ की शूटिंग लंदन में शुरू हो चुकी है। इस शूट में अक्षय कुमार के अलावा रितेश देशमुख और बॉबी देओल ने भी हिस्सा लिया।

बॉबी देओल हॉउसफुल ४ के नए मेहमान हैं। जबकि रितेश देशमुख भी अक्षय कुमार की तरह हाउसफुल परिवार के स्थाई सदस्य हैं।

हाउसफुल ४ के  निर्माता  साजिद नाडियाडवाला हैं और फिल्म का निर्देशन साजिद खान ने किया है।साजिद खान ने चार हाउसफुल फिल्मों में से तीन का निर्देशन किया है।  हाउसफुल ३ का निर्देशन साजिद-फरहाद ने किया था।

हॉउसफुल ४ मे अक्षय कुमार ने लंदन के एक नाई की भूमिका की है।

इस फिल्म के तीन नायकों की नायिका कृति सैनन (दिलवाले, राब्ता और बरेली की बर्फी), कृति खरबंदा (गेस्ट इन लंदन, शादी में ज़रूर आना) और पूजा हेगड़े (मोहन जोदड़ो) हैं।

चित्र में हॉउसफुल ४ के तीनों हीरो यानि अक्षय कुमार, बॉबी देओल और रितेश देशमुख नज़र आ रहे हैं।

अक्षय कुमार, कॉमेडी जॉली एलएलबी २ के बाद, रियल किरदार फिल्मों टॉयलेट एक प्रेम कथा और पैडमैन में व्यस्त हो गए थे। अब वह एक बार फिर बेतहाशा कॉमेडी फिल्म करने जा रहे हैं।

बॉबी देओल का करियर, रेस ३ के बाद, फिर सर उठाने लगा है।  उन्हें अपने बचपन के साथियों का साथ मिल रहा है। उनकी एक फिल्म यमला पगला दीवाना फिर से ३१ अगस्त को रिलीज़ होने जा रही है।

हॉउसफुल फिल्मों के स्थाई सदस्य रितेश देशमुख हाउसफुल ४ में भी बाबू राव की भूमिका ही कर रहे हैं। उन्होंने राजनीति में जाने का ऐलान कर दिया है। उनके कांग्रेस के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ने की संभावना है।

अगर चुनाव में कांग्रेस को सफलता मिल गई तो रितेश देशमुख राजनीति में कुछ ज़्यादा व्यस्त हो जायेंगे। 


पुनर्जन्म पर आधारित हाउसफुल ४ को दिवाली २०१९ पर रिलीज़ किया जाएगा। 



क्या दर्शकों को भाएगी अदा शर्मा की यह अदा ? - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

क्या दर्शकों को भाएगी अदा शर्मा की यह अदा ?

सोलह साल की उम्र में, किसी आत्मा की क़ैद में आ जाना मायने रखता है। अदा शर्मा ने पहली हिंदी फिल्म १९२० (२००८) में भटकती आत्मा के शिकंजे में फंसी लिसा और उसकी आत्मा की दोहरी भूमिका की थी।  इस फिल्म को बॉक्स ऑफिस पर सफलता मिली थी।

लेकिन, अदा शर्मा आत्मा के चंगुल में फंस गई। वह एक हॉरर फिल्म की नायिका थी।  ऎसी हॉरर फिल्म की नायिका से प्रोडूसर डरता है।

अदा को तीन साल तक कोई फिल्म नहीं मिली।

२०११ में एक क्राइम थ्रिलर फिल्म फिर आई। दो साल बाद, हम हैं रही कार के (२०१३) और हँसी तो फंसी (२०१४) रिलीज़ हुई।

इस बीच, अदा शर्मा ने, पूरी जगन्नाथ की तेलुगु भाषा में रोमांटिक कॉमेडी ड्रामा  फिल्म हार्ट अटैक मंज़ूर कर ली। नितिन के साथ अदा की यह फिल्म कामयाब हुई। जबकि दूसरी ओर उनकी रिलीज़ तमाम हिंदी फ़िल्में फ्लॉप हो रही थी।

हार्ट अटैक के बाद, अदा शर्मा की तेलुगु फिल्म एस/ओ सत्यमूर्ति, कन्नड़ फिल्म राणा विक्रम हिट हो गई।

तेलुगु फिल्म क्षणम की सफलता अदा के लिए फायदेमंद साबित हुई।  उनके पैर तेलुगु और कन्नड़ फिल्मों में जम गए।

२०१७ में उनकी विद्युत् जम्वाल के साथ हिंदी फिल्म कमांडो २ को सफलता मिली।  वह, कमांडो २ की सीक्वल फिल्म कमांडो ३ में फिर विद्युत् जम्वाल  के साथ अभिनय कर रही है।

उनकी प्रभुदेवा के साथ, तमिल डेब्यू फिल्म चार्ली चैपलिन २ पूरी हो चुकी है। यह कॉमेडी फिल्म है।  इस फिल्म में मॉडल और फैशन डिज़ाइनर निक्की गलरानी भी अभिनय कर रही हैं।

अदा शर्मा एक हिंदी और अंग्रेजी द्विभाषी फिल्म सोलमेट भी कर रही है। 


अदा शर्मा, चाहे फिल्म कर रहे हों या नहीं कर रही हैं, वह अपनी अदाओं से दर्शकों को लुभाती रहती हैं। उनके सोशल पेज पर विभिन्न मुद्राओं और एंगल से खींचे गए लुभावने चित्र लगभग रोज ही देखे जा सकते हैं।


क्राइम थ्रिलर फिल्म पाखी का ट्रेलर -  देखने के लिए क्लिक करें 

क्राइम थ्रिलर फिल्म पाखी का ट्रेलर

नवाबजादे की मम्मी कसम, रिलीज़ हुआ विडियो

नए चेहरों की तुम बिन, औंधे मुंह गिरा सुपर स्टार का अक्स

सत्रह साल पहले, आज ही की तारीख़ और दिन था।

अमूमन, शुक्रवार नई फिल्मों की रिलीज़ का दिन था। १३ जुलाई २००१ को दो नई फ़िल्में रिलीज़ हुई थी।

इन दो फिल्मों सेदो युवा फिल्मकारों, ३८ साल के राकेश ओमप्रकाश मेहरा और ३६ साल के अनुभव सिन्हा का, बतौर फिल्म निर्देशक डेब्यू हो रहा था। लेकिन, इन दोनों युवा निर्देशकों की फ़िल्में अलग अलग जॉनर की फ़िल्में थी।

राकेश ओमप्रकाश मेहरा की फिल्म अक्स सुपरनैचुरल थ्रिलर फिल्म थी। यह दो हॉलीवुड फिल्मों फेसऑफ और फालेन का चर्बा थी। अनुभव सिन्हा की फिल्म तुम बिन एक रोमांटिक ड्रामा फिल्म थी।

ख़ास बात यह थी कि राकेश ओमप्रकाश मेहरा की फिल्म अक्स, रिलीज़ से पहले ही काफी चर्चित हो गई थी।  कारण थी, इसकी बड़ी स्टारकास्ट।  अक्स में अमिताभ बच्चन, मनोज बाजपेयी, रवीना टंडन, नंदिता दास, केके रैना, वीरेंद्र सक्सेना, अमोल पालेकर, आदि जैसी स्टारकास्ट शामिल की गई थी।  यह सभी बड़े सितारे सुपरनैचुरल थीम को रहस्यमई बना रहे थे।

जबकि, अनुभव सिन्हा की फिल्म तुम बिन से तीन नए चेहरों का फिल्म डेब्यू हो रहा था।  तीनों ही देश के मशहूर मॉडल थे।  यह नए चेहरे थे मॉडल और बांगला फिल्म एक्टर प्रियांशु चटर्जी, मॉडल संदली सिन्हा और ग्रेसिम मिस्टर इंडिया के रनरअप और मॉडल राकेश बापट के।  इनके साथ एक तीसरे पुरुष मॉडल हिमांशु मलिक भी थे। यह तीनों आपस में रोमांटिक एंगल बना रहे थे। 


अमिताभ बच्चन, अपने समय के सुपरस्टार, मेगा स्टार, वन मैन इंडस्ट्री, आदि न जाने क्या क्या थे।उनके रहने मात्र से फिल्म के हिट होने की गारंटी मिल जाती थी।  मनोज बाजपेयी, सत्या, शूल, कौन, फ़िज़ा और ज़ुबैदा जैसी फिल्मों से अपने अभिनय का डंका बजा चुके थे।  ग्लैमरस रवीना टंडन का किरदार रहस्य  से भरपूर था।  फिल्म की पूरी शूटिंग रॉयल कैसल बुडापेस्ट हंगरी में हुई थी। कहने का मतलब यह कि फिल्म के हिट होने की पूरी पूरी गारंटी थी। 

वहीँ, तुम बिन को ऐसी गारंटी देने वाली कोई चीज़ नहीं थी।  सिवाय म्यूजिकल फिल्म बनाने वाले बैनर टी-सीरीज और निर्माता भूषण कुमार के।  हिंदी फिल्म दर्शक अपने मॉडल एक्टर्स से प्रभावित नज़र नहीं आता था। तुम बिन की  पूरी शूटिंग कनाडा में हुई थी।

१३ जुलाई २००१ को यह दोनों फ़िल्में रिलीज़ हुई।  इस तारिख से पहले तक, तुम बिन के संगीत ने धूम मचानी शुरू कर दी थी।  इसलिए, इन दोनों फिल्मों वाले सिनेमाघरों में खासी भीड़ जुटी थी।  फैसला पहला दिन पहला शो के दर्शकों के हाथों में था।

उन्होंने फैसला दे दिया। 

अक्स को देख कर निकले दर्शकों के मुंह से धुंआधार गालियां निकल रही थी। अक्स की स्टार कास्ट पर मनोज बाजपेयी भारी पड़े थे। लेकिन, अमिताभ बच्चन के किरदार ने दर्शकों को बेचैन कर दिया था। दर्शक झल्ला उठे थे। फिल्म को इतनी ज़बरदस्त बैड पब्लिसिटी मिली कि मैटनी शो शुरू होते होते फिल्म बैठ गई। 


दूसरी ओर तुम बिन के सिनेमाघरों में जश्न मन रहा था।  दोपहर का शो देख कर निकलते दर्शकों की जुबान पर तुम्हारे सिवा, मेरी दुनिया, कोई फरियाद, आदि गीत चढ़े हुए थे।  संदली सिन्हा का राकेश बापट से अधूरा रोमांस, प्रियांशु चटर्जी का एकतरफा रोमांस और हिमांशु मालिक का त्याग भरा प्यार, हिंदी दर्शकों के सर चढ़ कर बोलने लगा था। 

पहले शो के साथ ही, अक्स फ्लॉप हो चुकी थी, जबकि तुम बिन लम्बी दौड़ का घोड़ा साबित हो रही थी। 


हालाँकि, तुम बिन और अक्स का भारतीय बॉक्स ऑफिस पर कलेक्शन समान था।  दोनों ही फिल्मों ने बॉक्स ऑफिस पर ८-८ करोड़ का कारोबार किया था।  इसके बावजूद अक्स फ्लॉप हुई, क्योंकि इस फिल्म का बजट १० करोड़ था, जबकि तुम बिन सिर्फ ३ करोड़ में बना ली गई थी। 



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Thursday, 12 July 2018

स्काइस्क्रैपर और अंट-मैन के बीच बॉलीवुड के मेमने !

इस सप्ताह, भारत के बॉक्स ऑफिस में दो हिंदी फिल्मों का टकराव जैसा कुछ नहीं है।

दिलजीत दोसांझ की फिल्म सूरमा के अलावा तेरी भाभी है पगले और ये कैसा तिगड़म जैसी साधारण बजट वाली फ़िल्में ही रिलीज़ हो रही है। इन दोनों, मामूली प्रोडक्शन वैल्यू वाली फिल्मों पर शाद अली की स्पोर्ट्स फिल्म सूरमा भारी पड़ेगी।

लेकिन, बॉलीवुड की इन तीनों हिंदी फिल्मों पर भारी पड़ेगी हॉलीवुड की दो फ़िल्में। यह फ़िल्में न केवल प्रोडक्शन के हिसाब से बड़ी फ़िल्में हैं, बल्कि इनके एक्टर्स भारतीय दर्शकों को जाने-पहचाने और पसंदीदा भी हैं।

फिल्म स्काइस्क्रैपर में ड्वेन जॉनसन द रॉक, एफबीआई की होस्टेज रेस्क्यू टीम के पूर्व मुखिया विल फोर्ड की भूमिका कर रहे हैं। रिटायरमेंट के बाद विल ने स्काइस्क्रैपर की सिक्योरिटी जांचने का काम शुरू कर दिया है।

वह ऐसे ही एक काम के सिलसिले में चीन गया है कि तभी वह पाता है कि दुनिया की सबसे ऊंची और सबसे सुरक्षित इमारत यकायक जलने लगती है, जिसका दोषी उसे बनाया जाता है।

अब विल को एक वांछित भगोड़े अपराधी को पकड़ना है, इस आग के लिए दोषियों का पता लगाना और खुद पर लगे आरोप हटाने हैं।

तभी उसे पता चलता है कि इमारत की जिस मंजिल पर आग लगी हुई है, उसके ऊपर की मंजिल पर उसका परिवार भी फंसा हुआ है। ऐसे में उसके सामने बड़ी कठिन परिस्थिति पैदा हो गई है।  क्योंकि, पुलिस भी उसके पीछे पड़ी है।

इस फिल्म के निर्देशक रौसों मार्शल थूबर हैं।
स्काइस्क्रैपर 
फिल्म अंट-मैन एंड वास्प, मार्वेल के सबसे छोटे सुपरहीरो वाली फिल्म है। 

स्कॉट लांग उर्फ़ अंट-मैन बेहद जटिल परिस्थिति से घिर चुका है।

वह एक पिता और एक सुपरहीरो, दोनों ही बनने के चक्कर में बुरा फंसा है।

होप वैन डैन और डॉक्टर हेंक पीम उससे संपर्क करते हैं। उनके कहने पर स्कॉट लांग को अंट-मैन की पोशाक पहननी है और वास्प के साथ मिल कर काम करना  है। एक ज़रूरी मिशन के दौरान अतीत का  एक रहस्य सामने आता है। इसके फलस्वरूप इन दोनों को एक नए शक्तिशाली शत्रु का सामना करना है।

इस फिल्म का निर्देशन पेटों रीड कर रहे हैं।  फिल्म में अंट-मैन की भूमिका पॉल रड और वास्प की भूमिका एवंजलीने लिली कर रही है।
अंट-मैन एंड द वास्प 
इन दोनों फिल्मों का एक ही हफ्ते में मुक़ाबला पूरे अमेरिका में कहीं नहीं हो रहा। लेकिन, भारत में यह टकराव बन चुका है।

कारण यह है कि अंट-मैन एंड द वास्प अमेरिका सहित दुनिया के तमाम देशों में ६ जुलाई को रिलीज़ हो चुकी है। सिर्फ भारत में ही यह फिल्म एक हफ्ता देर से रिलीज़ हो रही है। लेकिन, स्काइस्क्रैपर अपनी तारिख पर रिलीज़ हो रही है। स्काइस्क्रैपर अमेरिका सहित पूरी दुनिया में १३ जुलाई को ही रिलीज़ हो रही है।

इन दोनों फिल्मों के एक ही तारीख़ में रिलीज़ होने, दोनों ही फिल्मों के एक्टर पॉल रड और सबसे छोटे सुपरहीरो अंट-मैन, ड्वेन जॉनसन, एक्शन, एडवेंचर और फ़न्तासी ने, इन दोनों ही फिल्मों के बीच कड़ा मुक़ाबला पैदा कर दिया है।

इस मुक़ाबले पॉल रड पर ड्वेन जॉनसन भारी पड़ेंगे या पॉल रड उन पर ? यह सवाल १३ जुलाई के बाद ही हल होगा।

लेकिन, इतना तय है कि दो बलशाली शेरों के बीच फंस कर बॉलीवुड की तीन फिल्मों की हालत मेमने से भी बदतर हो चुकी है।

इस लिहाज़ से बॉक्स ऑफिस पर  अगला वीकेंड देखना दिलचस्प होगा।

मैंने कभी खुद को कलाकार सोचा ही नहीं था: राजेन्द्र चावला - पढ़ने के लिए क्लिक करें 

मैंने कभी खुद को कलाकार सोचा ही नहीं था: राजेन्द्र चावला

सोनी एंटरटेनमेंट टेलीवीजन पर आने वाला शो, ज़िन्दगी के क्रॉसरोड्स ज़िन्दगी की सच्ची कहानियों पर आधारित है, जो ज़िन्दगी के तमाम पहलुओं को समेटे हुए हैं ।

विचारों और ख्यालों की भावनात्मक कहानियों वाले इस शो की मेजबानी करेंगे राम कपूर ।

इस शो का निर्माण शबीना खान ने किया है । इसे लिखा है महादेव ने ।

यह शो अपने हर एपिसोड में एक नया ही नैरेटिव प्रस्तुत करता है और ज़िन्दगी के नायकों की ज़िन्दगी में आने वाली चुनौतियों के बारे में बताता है । इस के बारे में सवाल जबाव करने के लिए श्रोता भी हैं ।

सप्ताह में प्राइमटाइम में एक ऐसे फोरमैट में धारावाहिक अब तक देखा नहीं गया है  ।

ऐसी ही एक प्रेरणास्पद कहानी मुंशी जी की कहानी । जिसमें सदाबहार कलाकार मुंशी जी का किरदार निभाते हुए नज़र आएँगे । यह कहानी एक ऐसे इंसान की ईमानदारी को बताती है, जो किसी का बुरा नहीं करना चाहता है, जो हमेशा खुद पर भरोसा करता है । यह एक भावनात्मक कहानी है, जो न केवल दर्शकों को उनके विचार साझा करने के लिए कहेगी बल्कि वह इस फैसलों के पीछे के कारणों पर भी सवाल करती है ।

राजेन्द्र चावला कहते हैं जब मेरे पास प्रोडक्शन हॉउस से यह फोन आया कि क्या मुझे यह भूमिका निभानी है तो मैं बहुत खुश हुआ । इस शो में मेरी भूमिका बहुत ही ईमानदार इंसान की है । मैंने अपनी भूमिका को निभाने के लिए अपने पिता को ध्यान में रखा जो मेरी प्रेरणा और आदर्श हैं ।

मेरी ज़िन्दगी का क्रॉसवर्ड था फिल्म और टेलीवीजन उद्योग में से किसी एक को चुनना। मजेदार बात यह है कि मैं एक व्यापारी खानदान से हूँ ।

मैंने खुद को कभी एक कलाकार के रूप में नहीं सोचा था । मुझे पढ़ना लिखना नापसंद था। 

जब मेरे परिवार वालों ने लाइफ में सेटल होने के लिए जोर डाला तो मैंने अपने पिता की मदद से एक्टिंग में आने के लिए संघर्ष किया


दिलजीत दोसांझ, क्या चौथी बार साबित होंगे सूरमा ?  - पढ़ने के लिए क्लिक करे 

दिलजीत दोसांझ, क्या चौथी बार साबित होंगे सूरमा ?

कल, निर्देशक शाद अली की स्पोर्ट्स फिल्म सूरमा रिलीज़ हो रही है।

यह स्पोर्ट्स बायोपिक फिल्म हॉकी लीजेंड  संदीप सिंह के हॉकी के प्रति जज़्बे पर फिल्म है।

गोली लगने के बाद, व्हीलचेयर तक सीमित रह गए संदीप सिंह  की अपनी इच्छा शक्ति के बल पर भारतीय हॉकी टीम में सफल वापसी को परदे पर देखना, किसी भी भारतीय के लिए गौरव गाथा देखने जैसा  है। इस फिल्म के केंद्रीय किरदार संदीप सिंह रियल लाइफ के सूरमा साबित हुए थे ।

शाद अली की फिल्म सूरमा में संदीप सिंह की भूमिका पंजाबी फिल्मों के अभिनेता और गायक दिलजीत दोसांझ कर रहे हैं।

सूरमा उनकी चौथी हिंदी फिल्म है।

दिलजीत ने हिंदी फिल्म डेब्यू २०१६ से उड़ता पंजाब से किया था।

पिछले साल उनकी एक फिल्म अनुष्का शर्मा के साथ फिल्लौर रिलीज़ हुई थी।

इसी साल, २०१८ में उनकी एक रियलिटी शो पर आधारित फिल्म वेलकम टू न्यू यॉर्क रिलीज़ हुई थी।

यह तीनों फ़िल्में दिलजीत दोसांझ को सफल शुरुआत नहीं देती थी।

उड़ता पंजाब फ्लॉप हुई थी।  फिल्म की स्क्रीन शाहिद कपूर, करीना कपूर खान और आलिया भट्ट भी शेयर कर रहे थे।

फिल्लौरी में उनकी भूमिका से ज़्यादा महत्वपूर्ण सूरज शर्मा की भूमिका थी।  फिल्म तो पूरी तरह से नायिका अनुष्का शर्मा की फिल्लौरी की थी।

वेलकम टू न्यू यॉर्क में वह एक गायक की भूमिका में थे, जिससे सफलता हमेशा दूर दूर ही रहती थी।  यह एक बेहद कमज़ोर फिल्म थी।

सूरमा उनके किरदार पर केंद्रित फिल्म है।

पूरी कहानी, पूरा परिदृश्य और कैनवास उनके संदीप सिंह पर ही केंद्रित होगा।

सूरमा में वह न केवल संदीप सिंह को जीवंत कर पाएंगे, बल्कि खुद को पंजाब का सूरमा साबित कर पाएंगे।


क्या चौथी बार सूरमा साबित होंगे दिलजीत दोसांझ ?

क्या सात साल बाद भैयाजी सुपरहिट होंगे ? - पढ़ने के लिए क्लिक करें