पैट्रिशिया रिग्गेन निर्देशित फिल्म 'द ३३' का कथानक २०१० में चिली के सान जोस माइन में हुए हादसे पर आधारित है, जिसमे ३३ खान मज़दूर फंस गए थे। मीको अलाने और क्रैग बोर्टेन की लिखी पटकथा पर आधारित इस फिल्म में स्पेनिश एक्टर अन्तोनिओ बँडेरास ने माइन में फंसे ३३ मज़दूरों में से एक मज़दूर सुपर मारिओ का किरदार किया है, जो रेस्क्यू टीम को खान में फंसे मज़दूरों की वीडियो भेजता रहता है। यह फिल्म मानवीय भावनाओं, जीवटता और जीने की लालसा का चित्रण करने वाली है। इस फिल्म को २४ अक्टूबर को शिकागो फिल्म फेस्टिवल में दिखाया जायेगा।
भारतीय भाषाओँ हिंदी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़, मलयालम, पंजाबी, आदि की फिल्मो के बारे में जानकारी आवश्यक क्यों है ? हॉलीवुड की फिल्मों का भी बड़ा प्रभाव है. उस पर डिजिटल माध्यम ने मनोरंजन की दुनिया में क्रांति ला दी है. इसलिए इन सब के बारे में जानना आवश्यक है. फिल्म ही फिल्म इन सब की जानकारी देने का ऐसा ही एक प्रयास है.
Tuesday, 22 September 2015
इंसानी एक जुटता और जीवटता की दास्तान 'द ३३'
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
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