हृषिकेश
पाण्डेय, ऐतिहासिक सीरियल पोरस में दोहरी भूमिका कर रहे हैं . सिद्धार्थ कुमार
तिवारी के इस शो में, कभी सेनापति रिपु दमन के गेटअप पहनते हैं, कभी समुद्री डाकू
सज्जन सिंह . सज्जन सिंह की वह किरदार है, जो पोरस की मदद करता है . वह पोरस के
साथ अपनी पहचान छुपा कर रहता है . रिपुदमन, पोरस के पिता राजा बामनी का
विश्वासपात्र है . वह उसका दाहिना हाथ है और सेनापति . वह राज्य और बच्चे को बचाने
के लिए अपना पूरा जीवन, परिवार और सब कुछ समर्पित कर देता है . इन दोनों ही
भूमिकाओं का लुक एक दूसरे से बिलकुल अलग है . बालों का ढंग और पोशाकें भी भीं हैं
. यहाँ तक कि दोनों किरदारों की मूछों का स्टाइल भी अलग है . हृषिकेश, सेनापति के चोले
में अपनी मूछे ऊपर को रखते हैं और डाकू के रूप में मूछे नीचे की ओर होती हैं .
किसी एक सीरियल में दोहरी भूमिका पाना, किसी भी एक्टर के लिए सौभाग्य की बात है .
हृषिकेश कहते हैं, “आप टेलीविज़न पर मुश्किल से ऐसे रोल पाते हैं . टेलीविज़न के
दूसरी तमाम दोहरी भूमिकाओं में पिता और बेटे का किरदार एक अभिनेता करता है, जहाँ
दो चेहरे सामान नज़र आते हैं . पर पोरस में अभिनेता को अलग अलग समय में अपनी पहले
वाली पहचान छुपाते हुए, दूसरे किरदार को भिन्न रखते हुए करना है”. पोरस एक युद्ध
प्रधान फिल्म है . तलवार, भाले, आदि से युद्ध दृश्य और घुड़सवारी के दृश्यों और
घटनाओं की भरमार है . इसलिए, घायल होना आम बात है . अपनी दो भूमिकाओं के लिए
हृषिकेश कई बार घायल हुए . एक बार तो उन्हें बहते खून में युद्ध करना पडा और दृश्य
पूरा होने बाद हॉस्पिटल ले जाए गए . वास्तविकता तो यह है कि हृषिकेश की तरह बाकी
तमाम एक्टर और एक्स्ट्रा भी घायल हुए . हृषिकेश कहते हैं, “शूटिंग के समय कई कठिन
परिस्थितियाँ आती हैं, चोट चपेट लगती है . लेकिन, उस समय सब भूल जाते हैं, जब काम
की प्रशंसा होती है.” हृषिकेश ने, २००१ मे जी टीवी के शो कोई अपना सा से अपने
एक्टिंग करियर की शुरुआत की थी . वह अब तक कहानी घर घर की, पिया का घर, विरासत,
हमारी बेटियों का विवाह, आदि में कमोबेश रोमांटिक किरदार कर चुके हैं . वह, सीआईडी
स्पेशल ब्यूरो में इंस्पेक्टर अभिमन्यु और सीआईडी में सचिन का किरदार कर चुके हैं
. इसके बावजूद हृषिकेश को एक्शन करना अच्छा लगता है . इसीलिए, उन्हें पोरस में
अपनी दोहरी भूमिकाएं करने में मज़ा आ रहा है . वह कहते हैं, “एक्शन करने में मज़ा आता
है . यह आपको हमेशा फिट रखते हैं . मैं इस प्रकार के शो करना पसंद करता हूँ . यह
टिपिकल सास-बहु गाथा की तरह एकरस नहीं होते .” अब यह बात दीगर है कि पोरस की
भूमिकाओं के कारण पिछले १५-१६ सालों से एक ही लुक में नज़र आ रहे हृषिकेश के लुक
में बड़ा बदलाव हो गया है.
भारतीय भाषाओँ हिंदी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़, मलयालम, पंजाबी, आदि की फिल्मो के बारे में जानकारी आवश्यक क्यों है ? हॉलीवुड की फिल्मों का भी बड़ा प्रभाव है. उस पर डिजिटल माध्यम ने मनोरंजन की दुनिया में क्रांति ला दी है. इसलिए इन सब के बारे में जानना आवश्यक है. फिल्म ही फिल्म इन सब की जानकारी देने का ऐसा ही एक प्रयास है.
Saturday, 30 December 2017
हृषिकेश पांडेय : एक एक्टर, जो सेनापति भी है और डाकू भी
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Television
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
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