सिद्धार्थ कुमार तिवारी का ऐतिहासिक मेगा शो पोरस सोनी टेलीविज़न पर धूम मचा रहा है। इसके वीएफएक्स और सेट्स को दर्शकों द्वारा ख़ास पसंद किया जा रहा है। तिवारी का यह शो भारी बजट से बनाया जा रहा है। इस शो की लागत ७७ करोड़ बताई जा रही है। इतनी भारी लागत केवल केवल टेलीविज़न के बल पर नहीं निकाली जा सकती। इसलिए, तिवारी परिवार (सिद्धार्थ और भाई राहुल) दूसरे तरीकों से पोरस की लागत निकालने की जुगत में हैं। सिद्धार्थ तिवारी इसके लिए अपने सीरियल को डिजिटल माध्यम में रिलीज़ करना चाहेंगे। उनका इरादा पोरस को कई भाषाओँ में डब कर रिलीज़ करने का भी है। इसमें सिद्धार्थ की मदद सोनी लाइव यान सोनी इंडिया डिजिटल कर सकता है। इस सीरियल के डिजिटल अधिकार के लिए दूसरे प्लेटफार्म भी हिस्सा ले सकते हैं। यह बोली लगाने वाले की ऊंची बोली पर निर्भर करेगा कि कितनी ज़्यादा की बोली लगाते हैं। क्या डिजिटल हो कर पोरस फायदेमंद साबित होगा !
भारतीय भाषाओँ हिंदी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़, मलयालम, पंजाबी, आदि की फिल्मो के बारे में जानकारी आवश्यक क्यों है ? हॉलीवुड की फिल्मों का भी बड़ा प्रभाव है. उस पर डिजिटल माध्यम ने मनोरंजन की दुनिया में क्रांति ला दी है. इसलिए इन सब के बारे में जानना आवश्यक है. फिल्म ही फिल्म इन सब की जानकारी देने का ऐसा ही एक प्रयास है.
Wednesday, 13 December 2017
पोरस होगा डिजिटल ?
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Television
मैं हिंदी भाषा में लिखता हूँ. मुझे लिखना बहुत पसंद है. विशेष रूप से हिंदी तथा भारतीय भाषाओँ की तथा हॉलीवुड की फिल्मों पर. टेलीविज़न पर, यदि कुछ विशेष हो. कविता कहानी कहना भी पसंद है.
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